Karnataka Hijab Row: कर्नाटक में हिजाब बनाम भगवा गमछा की लड़ाई जारी है. सोमवार को भी हिजाब के बदले में हिंदू छात्र भगवा गमछा पहनकर कॉलेज पहुंचे. वहीं, कुछ छात्राएं हिजाब पहनकर पहुंचीं.
न्यूज एजेंसी के मुताबिक, उडुपी जिले के कुंडापुर में स्थित वेंकट रमण कॉलेज के कुछ छात्र भगवा गमछा पहनकर पहुंचे. कॉलेज के प्रिंसिपल और वहां मौजूद पुलिसकर्मियों ने उन्हें रोक दिया.
छात्रों का कहना था कि जब तक हिजाब पहनकर छात्राओं को आने की अनुमिति रहेगी, तब तक वो भी भगवा गमछा पहनकर आएंगे. बाद में प्रिंसिपल के समझाने के बाद छात्रों ने भगवा गमछा उतारे. ऐसी ही घटना कुंडापुर के पीयू कॉलेज में भी हुई. वहां कुछ छात्राएं हिजाब पहनकर कॉलेज पहुंचीं.
कॉलेज के प्रशासनिक अधिकारियों ने छात्र-छात्राओं को सरकारी आदेश का हवाला देते हुए गमछा और हिजाब पहनकर आने से रोक दिया. कर्नाटक सरकार ने शनिवार को ही एक आदेश जारी किया था, जिसमें ऐसे कपड़े पहनकर आने पर रोक लगा दी गई, जिससे शांति व्यवस्था बिगड़ने का खतरा हो.
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हिजाब पर क्या है सरकार का आदेश?
- राज्य सरकार ने शनिवार को कर्नाटक एजुकेशन एक्ट 1983 की धारा 133(2) को लागू कर दिया. इसके मुताबिक, सभी छात्र-छात्राओं को एक समान कपड़े पहनकर ही आना होगा.
- आदेश में कहा गया है कि सभी सरकारी स्कूलों में तय ड्रेस कोड का पालन करना होगा. वहीं, निजी स्कूलों के स्टूडेंट्स को भी तय यूनिफॉर्म ही पहनकर आनी होगी.
- आदेश में ये भी कहा गया है कि अगर किसी स्कूल या कॉलेज में कोई ड्रेस कोड नहीं है तो स्टूडेंट्स ऐसे कपड़े पहनकर नहीं आ सकते जिससे सामुदायिक सौहार्द्र, समानता और शांति व्यवस्था को खतरा हो.
हाईकोर्ट में भी लंबित है मामला
- कर्नाटक में हिजाब को लेकर 1 जनवरी 2022 को विवाद शुरू हुआ. उस दिन उडुपी के एक सरकारी प्री-यूनिवर्सिटी कॉलेज में 6 मुस्लिम छात्राओं को हिजाब पहनकर क्लास में जाने से रोक दिया गया था.
- इसके बाद रेशम फारूक नाम की छात्रा ने कर्नाटक हाईकोर्ट में ये कहते हुए याचिका दायर की कि हिजाब पहनने की अनुमति न देना संविधान के अनुच्छेद 14 और 25 के तहत उनके मौलिक अधिकारों का हनन है. इस याचिका पर 8 फरवरी को सुनवाई होनी है.
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शिक्षा मंत्री बोले- ड्रेस कोड का पालन करें
- कर्नाटक के शिक्षा मंत्री बीसी नागेश ने रविवार को कहा कि जो लोग ड्रेस कोड का पालन नहीं करना चाहते, वो दूसरा ऑप्शन देख लें.
- उन्होंने कहा कि जिस तरह से सेना में नियमों का पालन किया जाता है, वैसा ही यहां भी किया जाना चाहिए. उन्होंने कहा कि उन लोगों के लिए विकल्प खुले हैं, जो इसका पालन नहीं करना चाहते.
- कांग्रेस ने आरोप लगाया कि ऐसा करके बीजेपी मुस्लिम छात्राओं को पढ़ाई से वंचित कर रही है. इस पर जवाब देते हुए नागेश ने कहा कि ड्रेस कोड का नियम कांग्रेस सरकार लेकर आई थी और ये कई सालों से लागू है.