हरियाणा के बहादुरगढ़ में दिनदहाड़े इंडियन नेशनल लोकदल (INLD) के प्रदेश अध्यक्ष नफे सिंह राठी की हत्या के मामले में जांच के दौरान पुलिस को कुछ अहम सुराग मिले हैं. जिस आई10 कार से हमलावर नफे सिंह को मारने आए थे उसका नंबर फर्जी निकला. जिस कार का हत्या में इस्तेमाल किया गया है वो फरीदाबाद का निकला.
पुलिस के हाथ लगा अहम सुराग
इतना ही नहीं जांच के क्रम में पुलिस को एक शूटर का सुराग भी हाथ लगा है.पुलिस की कई टीम उस लीड पर काम कर रही हैं. बता दें कि इस मामले की जांच की जिम्मेदारी दो डीएसपी और एसटीएफ को सौंपी गई है.
वहीं दूसरी तरह हरियाणा सरकार नफे की हत्या की सीबीआई जांच के लिए भी तैयार हो गई है. हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज ने इस हत्याकांड की सीबीआई जांच कराने का आश्वासन भी दिया है.
हरियाणा सरकार सीबीआई जांच के लिए तैयार
गृह मंत्री अनिल विज ने सोमवार को विधानसभा में इंडियन नेशनल लोकदल के प्रदेश अध्यक्ष नफे सिंह राठी की हत्या की सीबीआई जांच का आश्वासन दिया. बता दें कि रविवार को दिल्ली के पास बहादुरगढ़ में अज्ञात हमलावरों ने राठी, उनके एक सुरक्षाकर्मी की ताबड़तोड़ गोली मारकर हत्या कर दी थी.
लोकसभा चुनाव से कुछ हफ़्ते पहले हुए इस हमले पर विपक्षी दलों ने तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की है. उन्होंने भाजपा शासित राज्य में कानून-व्यवस्था ख़राब होने का आरोप लगाया.
इसी को लेकर गृह मंत्री विज ने विधानसभा में कहा, 'अगर सदन केवल सीबीआई जांच से संतुष्ट है, तो मैं सदस्यों को आश्वासन देता हूं कि हम मामला सीबीआई को सौंप देंगे.'
इससे पहले विधानसभा अध्यक्ष ने कानून और व्यवस्था पर स्थगन प्रस्ताव स्वीकार कर लिया क्योंकि विपक्षी पार्टी कांग्रेस ने राठी की हत्या का मुद्दा उठाया और घटना की जांच या तो हाई कोर्ट के न्यायाधीश या हाई कोर्ट के जस्टिस की निगरानी में सीबीआई से कराने की मांग की. सदन में प्रश्नकाल के तुरंत बाद, कांग्रेस सदस्यों ने यह मुद्दा उठाया और कानून-व्यवस्था पर चर्चा की मांग की.
कब और कैसे हुई नफे सिंह की हत्या
बता दें कि रविवार की शाम पांच बजे नफे सिंह पर उस वक्त हमला किया जब वो किसी व्यक्ति की मौत पर शोक प्रकट कर वापस लौट रहे थे. आई10 कार से आए हमलावरों ने पीछे से उनकी फॉर्च्यूनर कार पर ताबड़तोड़ गोलियां बरसानी शुरू कर दी. नफे सिंह पर जब यह हमला हुआ उस वक्त उनकी फॉर्च्यूनर गाड़ी में कुल पांच लोग सवार थे.
नफे सिंह ड्राइवर के साथ आगे वाली सीट पर बैठे थे जबकि उनके तीन गनमैन पीछे की सीट पर बैठे थे. हमले में नफे सिंह और उनके एक सुरक्षा गार्ड को कई गोलियां लगी और मौके पर ही उनकी मौत हो गई.