आम आदमी पार्टी के निलंबित विधायक कर्नल देवेंद्र सहरावत ने जाट समुदाय के दो लोगों की गिरफ्तारी को सियासत कहा है. आपको बता दें कि इनकी गिरफ्तारी सिख दंगों के केस में हुई. सहरावत ने कहा कि महिपालपुर के दो निर्दोष लोगो को बलि का बकरा बनाया गया है. इनके खिलाफ 1984 के दंगों पर मुकदमा 2017 में दायर किया गया. 1984 के दंगों को राजनीति करने के लिए इस्तेमाल किया गया है.
सहरावत ने कहा कि विधायक मनजिंदर सिरसा ने हिंसा कर एक शर्मनाक हरकत की है. उन्होंने इस मौके को राजनीति के लिए पूर्व नियोजित तरीके से इस्तमाल किया है. 1980 से 1995 के दौरान पंजाब, कश्मीर की हालत में था. पाक समर्थित खालिस्तान आतंकवाद को खत्म करने के लिए सेना को स्वर्ण मंदिर से आतंकवादियों को निकलना पड़ा था. इस दौरान 190 हिन्दू बसों से उतार कर मौत के घाट उतारे गए थे.
330 निर्दोष लोगों को बम से उड़ा दिया गया
सहरावत ने आगे कहा कि कनिष्क हवाई जहाज में 330 निर्दोष लोगों को बम से उड़ा दिया गया. प्रधान मंत्री की हत्या के बाद 1984 में दंगे हुए. महिपालपुर में कुछ लोगों ने लड्डू बांटे थे. जिन लोगों ने असल मे हिंसा की वह आज भी अपने प्रभाव से आज़ाद घूम रहे हैं.
सहरावत ने इसको राजनीति बताते हुए कहा कि 2 निर्दोष लोगों को, जिनके ऊपर 2017 में मुकदमा दायर किया गया है, उनको चुनावों में फायदा उठाने के लिए मीडिया ट्रायल कर जनता को उत्तेजित किया जा रहा है. इसमें सिरसा जैसे नेता राजनीति कर रहे हैं और अपनी हिंसा का वीडियो वायरल कर रहे हैं.