2001 में मिस्टर परफेक्शनिस्ट आमिर खान की फिल्म लगान रिलीज हुई थी. स्पोर्ट्स ड्रामा मूवी को एक्टर की सक्सेसफुल फिल्मों में काउंट किया जाता है. लेकिन जब ये फिल्म बन रही थी तब लोगों को ऐसा नहीं लगा था. ये वो दौर था जब बॉलीवुड में रोमांटिक मूवीज का बोलबाला था. ऐसे वक्त में आमिर का लगान जैसी फिल्म लेकर आना कईयों को खटका था. ऊपर से ये फिल्म 3 घंटे 44 मिनट लंबी थी. एजेंडा आजतक 2025 में आमिर ने ऐसे ही एक किस्से को सुनाया है.
बुधवार को आमिर एजेंडा आजतक में गेस्ट बने. यहां सुपरस्टार ने फिल्म 'कयामत से कयामत तक' से लेकर 'सितारे जमीन पर' की जर्नी को शेयर किया. उन्होंने बताया कि वो लीक से हटकर फिल्में बनाना पसंद करते हैं. एक जैसे रोल और प्रोजेक्ट नहीं कर सकते. ऐसा कर वो बोर हो जाते हैं. वो उन्हीं कहानियों को चुनते हैं जो उनके दिल को छूती है. फिर लोगों की आलोचनाओं की उन्हें बिल्कुल भी परवाह नहीं होती. लगान की मेकिंग का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि उस वक्त जावेद अख्तर ने उन्हें ये फिल्म करने के लिए डांटा था.
लगान को लेकर जावेद अख्तर ने क्या कहा था?
आमिर ने कहा- मुझे टेढ़ी कहानी पसंद आती है. जब हमने लगान की थी हमें नहीं पता था कौन इसे देखने आएगा. जावेद साहब ने मुझे कहानी सुनने के बाद कहा था कि ये फिल्म नहीं चलेगी? क्या बना रहे हो आप? ये बहुत बड़ी फ्लॉप बना रहे हो. स्पोर्ट्स की फिल्में नहीं चलेगी. लोग स्विटजरलैंड की वादियों में अच्छी लोकेशन के साथ शूट कर रहे हैं. तुम यहां आप धोती-बनियान में शूट कर रहे हो. आमिर ने उन्हें जवाब में यही कहा कि ये फिल्म तो वो बनाकर रहेंगे. उन्हें इसकी कहानी ने क्लिक किया है.
क्रिटिक्स को लेकर क्या बोले आमिर?
आमिर ने क्रिटिक्स को लेकर कहा- आखिर में अच्छी फिल्म चलती है. अगर मूवी लोगों को पसंद आ रही है तो मतलब अच्छी है. किसी भी फिल्म को चलने के लिए वर्ड ऑफ माउथ चाहिए. आज मार्केटिंग थोड़ा मुश्किल हो गया है. जब 'कयामत से कयामत तक' आई थी तब बस दूरदर्शन था. तब हमारी ऑडिंयस और इंडिया एक प्लेटफॉर्म पर था. आज ऐसा नहीं है. हर जनरेशन अलग अलग प्लेटफॉर्म पर है. आजकल मार्केट करना मुश्किल हो गया है.