नवाजुद्दीन सिद्दीकी को इंडस्ट्री के सबसे दमदार एक्टर्स में गिना जाता है. मगर इस टैलेंट को पर्दे पर चमकने में एक लंबा समय और बहुत कड़ा संघर्ष भी लगा है. 'शूल' और 'सरफरोश' जैसी कई फिल्मों में बहुत छोटे-छोटे किरदार निभा चुके नवाजुद्दीन को 2012 में 'कहानी' और 'गैंग्स ऑफ वासेपुर' जैसी फिल्मों से लोगों ने डिस्कवर किया.
एक नए इंटरव्यू में नवाजुद्दीन सिद्दीकी ने कहा कि उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि वो कभी एक्टिंग वगैरह कर पाएंगे. नवाज ने इस इंटरव्यू में ये भी कहा कि जब वो कामयाब नहीं थे तो उन्हें हकलाने की भी समस्या थी जो सक्सेस मिलने के साथ दूर होती गई. लेकिन अब भी कभी-कभी गुस्से में ये समस्या वापस लौट आती है.
इंडस्ट्री में नवाजुद्दीन को सम्मान मिला?
अनफिल्टर्ड विद समदीश यूट्यूब चैनल से बात करते हुए नवाजुद्दीन सिद्दीकी ने अपने जीवन के कई पहलुओं पर खुलकर बात की. जब उनसे पूछा गया कि क्या उन्हें इंडस्ट्री में उतनी इज्जत मिलती है, जितनी मिलनी चाहिए? तो नवाज ने तुरंत कहा, 'औकात से ज्यादा मिली.'
अपनी बात आगे बढ़ाते हुए नवाज ने कहा, 'जिस जगह से हूं मैं वेस्टर्न यूपी में, वहां पे दूर-दूर तक ये सब पॉसिबल नहीं था... मैंने कभी नहीं सोचा था कि कभी इस तरह की चीजें कर पाऊंगा, क्योंकि थोड़ा आलसी था, ट्यूबलाइट था. बहुत ज्यादा स्टैमर (हकलाना) करता था और देर से चीजें समझ आती हैं.' नवाजुद्दीन ने बताया कि उनका हकलाना 2005-06 के आसपास गया, मगर अब भी जब कभी उन्हें बहुत गुस्सा आता है तो वो हकलाने लगते हैं.
उनकी ये समस्या कैसे ठीक हुई और उसकी वजह क्या थी ये बताते हुए नवाज ने कहा, 'जो भी थोड़ा बहुत अचीव किया उसकी वजह से गया, मैं अब ठीक हूं. शायद पहले इनसिक्योरिटी की वजह से था, उसके बाद चला गया वो, शायद कुछ चीजें मिलीं मुझे.'
नवाजुद्दीन ने ये भी बताया कि इंडस्ट्री में कुछ लोगों से उन्हें बहुत प्यार मिला, जैसे 'गैंग्स ऑफ वासेपुर' डायरेक्टर अनुराग कश्यप से. लेकिन वो गले लगाने या और किस तरीके से जताने में यकीन नहीं करते और इसीलिए इस प्यार को कभी सामने से कह नहीं पाते.
'सड़क पर कर लूंगा एक्टिंग'
नवाज ने बताया कि उन्हें एक्टिंग करने से प्यार है लेकिन वो किसी से काम मांगने नहीं जा सकते. उन्होंने कहा, 'मेरे पास कल को काम-वाम न रहा तो, मेरे अंदर इतनी भी कुव्वत नहीं है कि मैं किसी के पास जाकर काम मांग सकूं. मैं आकर आपसे बोलूं कि मुझे काम दो? मैं नहीं मांग सकता.'
उन्होंने आगे कहा कि काम मांगने में कमतर महसूस होता है, ऐसा कुछ नहीं है. लेकिन वो ये कर ही नहीं सकते. नवाजुद्दीन ने कहा, 'मैं काम मांगने नहीं जाऊंगा. मैं अपना घर बेच के, सारी चीजें बेच के फिल्म बना लूंगा. मैं जूते बेचकर फिल्में बना लूंगा. जो मेरे पास चीजें हैं सब निछावर कर दूंगा फिल्म बनाने में. एक्टिंग करना इम्पोर्टेन्ट है, जरूरी नहीं है कि फिल्मों में करो. मैं सड़क पर कर लूंगा, मैं ट्रेन में करूंगा, मैं बस के ऊपर कर लूंगा.'
नवाजुद्दीन आखिरी बार संक्रांति पर रिलीज हुई तेलुगू फिल्म 'सैंधव' में विलेन का किरदार निभाते नजर आए थे. जल्द ही वो अरबाज खान और रेजीना कसांड्रा के साथ फिल्म 'सेक्शन 108 में नजर आएंगे.