दिल्ली में चुनावी राजनीति के महारथियों के लिए आज की रात कयामत की रात है. बुधवार को दिल्ली में विधानसभा चुनाव के लिए वोटिंग होने वाली है. चुनाव प्रचार पहले ही थम चुका है, लेकिन उधर प्रचार थमा, इधर वोटरों को रिझाने के लिए जाम छलकने लगे. आजतक के स्टिंग ऑपरेशन 'इलेक्शन' में खुलासा हुआ कि शराब परोसकर वोटरों को अपनी तरफ खींचने की कोशिश हो रही है और इस खेल में शामिल हैं बड़े-बड़े दलों के बड़े-बड़े उम्मीदवार.
चुनावी सभाओं में नेताओं और उम्मीदवारों के आदर्श की ऊंची-ऊंची बातें तो आपने बहुत सुनी होगी, लेकिन चुनाव जीतने के लिए इतने निचले स्तर के हथकंडे अपनाए जाते हैं, ये जानकर आप हैरान जरूर होंगे. शराब की कीमत पर वोट पाने की ये कोशिश दिल्ली में चल रही है.
दिल्ली का एक दंगल नई दिल्ली में लड़ा जा रहा है. शीला दीक्षित, अरविंद केजरीवाल और बिजेंद्र गुप्ता के बीच, तो एक बड़ा घमासान मचा है महरौली के मैदान में. यहां मुकाबले में हैं कांग्रेस के दिग्गज नेता और दिल्ली विधानसभा के अध्यक्ष योगानंद शास्त्री. योगानंद शास्त्री के सामने खड़े हैं बीजेपी के उम्मीदवार और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा के बेटे प्रवेश वर्मा.
यहां घमासान है तो यहीं से गड़बड़ी की खबरें भी आ रही हैं. इन गड़बडियों को जांचने-परखने के लिए आज तक की महरौली में पहुंची. यहां पहले बीजेपी उम्मीदवार प्रवेश वर्मा के दफ्तर की सच्चाई जानी.
बीजेपी नेता के ऑफिस की हकीकत
पूर्व मुख्यमंत्री साहिब सिंह वर्मा के वारिस बनकर लोगों से वोट मांगने वाले प्रवेश वर्मा के प्रचार का एक सिरा शराब की बोतलों से जुड़ रहा है. आज तक को उनके दफ्तर में वर्मा जी तो नहीं मिले, लेकिन उनका ड्राइवर और एक कार्यकर्ता मिला. यह कार्यकर्ता फोन पर ही शराब की बोतलें बांट रहा था. बीजेपी उम्मीदवार के इस दफ्तर में ये कार्यकर्ता पूरी मुस्तैदी के साथ इस काम में जुटे हुआ था.
इस कार्यकर्ता ने फोन पर ये बात की- 'मेरे पास आये थे मांगने... कहा 8 लोग हैं.... मैंने कहा दे दो.... फिर एक आ गया अपना और अपनी बीवी का कार्ड लेके... कह रहा था कि एक मेरे लिए और एक मेरी बीवी के लिए... मैंने गाली देकर भगा दिया... बताओ उसको बीवी के लिए भी चाहिये.'
प्रवेश वर्मा के चुनावी दफ्तर के बाहर गाडि़यों की लंबी कतार लगी रहती है. आज तक ने अपने स्टिंग ऑपरेशन के दौरान पाया कि इन गाडियों में ही शराब रखी जाती है और यही से बैठे-बैठे बांटी जाती है. किसी को पव्वा पिलाया जा रहा है तो किसी को पूरी की पूरी बोतल दी जा रही है.
कांग्रेस नेता का सच कुछ ऐसा है
महरौली में जहां बीजेपी उम्मीवार का दफ्तर है, उसके बगल में ही कांग्रेस उम्मीदवार योगानंद शास्त्री का भी चुनावी ऑफिस है. एक दूसरे से आगे दिखाने वाली कांग्रेस और बीजेपी के नेता शराब बांटने में भी एक दूसरे से मानो आगे निकल जाना चाहते थे.
आज तक का अंडरकवर रिपोर्टर जब कांग्रेस उम्मीदवार के दफ्तर में पहुंचा तो पाया कि यहां तो लोग खुलेआम शराब लेकर जा रहे थे. यहां ना पुलिस का डर है, ना इलेक्शन कमीशन का खौफ. बस हर हाल में चुनाव जीतना ही मकसद है. चाहे कुछ भी करना पड़े.
वीडियो में देखें - चुनाव से पहले दिल्ली में बही शराब की नदियां