बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती पर बीजेपी की महिला विधायक साधना सिंह ने विवादित बयान दिया है. गेस्ट हाउस कांड की बात करते हुए साधना सिंह ने कहा कि जिस महिला के साथ ऐसी घटना हो जाती है, वह कलंकित मानी जाती है. महिला विधायक जब यह अमर्यादित बयान दे रही थी, उस समय मंच पर पार्टी के प्रदेश महामंत्री पंकज सिंह भी मौजूद था. साधना सिंह, चंदौली के मुगलसराय से विधायक हैं.
ये है साधना सिंह का आपत्तिजनक बयान
चंदौली जनपद के बबुरी थाना के परनपुरा गांव में किसान कुंभ अभियान कार्यक्रम में साधना सिंह ने कहा कि 'जब द्रोपदी का चीर हरण हुआ तो उसके बाद महाभारत हुआ, लेकिन सपा ने मायावती का चीर हरण किया, उसके बावजूद भी सत्ता के लोभ में आकर उन्होंने सपा से गठबंधन करके महिलाओं की अस्मत पर दाग लगाया है. साधना सिंह यहीं नहीं रुकीं. उन्होंने बसपा सुप्रीमो के बारे में अमर्यादित बयान देते हुए कहा कि वह ना नर हैं और ना ही नारी हैं.
(वीडियो में देखें पूरा बयान)
#WATCH:BJP MLA Sadhna Singh says about BSP chief Mayawati, "jis din mahila ka blouse, petticoat, saari phat jaaye, wo mahila na satta ke liye aage aati hai. Usko pure desh ki mahila kalankit maanti hai.Wo to kinnar se bhi jyada badtar hai, kyunki wo to na nar hai, na mahila hai." pic.twitter.com/w3Cdizd8eR
— ANI UP (@ANINewsUP) January 19, 2019
बसपा ने कहा, मानसिक संतुलन खो चुके हैं बीजेपी नेता
बीजेपी की महिला विधायक के इस अमर्यादित बयान पर बसपा महासचिव सतीश चंद्र मिश्रा ने तीखी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि बीजेपी विधायक ने हमारे पार्टी प्रमुख के लिए जिन शब्दों का इस्तेमाल किया, वह भाजपा के स्तर को दर्शाता है. सपा-बसपा गठबंधन की घोषणा के बाद बीजेपी नेताओं ने अपना मानसिक संतुलन खो दिया है और उन्हें आगरा या बरेली के मानसिक अस्पतालों में भर्ती कराया जाना चाहिए.
SC Mishra(BSP) on Sadhna Singh's (BJP) remark on Mayawati: The words she used for our party chief shows the level of BJP. After the announcement of this coalition (SP-BSP), BJP leaders have lost their mental balance & they should be admitted to mental hospitals in Agra & Bareilly pic.twitter.com/py4L7c2z9c
— ANI UP (@ANINewsUP) January 19, 2019
स्वाति सिंह पर बसपा नेताओं के बयान को लेकर मचा था हंगामा
इससे पहले बीजेपी के ही नेता दयाशंकर सिंह ने मायावती पर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी. इसके बाद बसपा नेताओं ने लखनऊ में आक्रोश रैली की थी. इस दौरान बसपा नेताओं ने भी दयाशंकर सिंह की पत्नी स्वाति सिंह और बेटी पर विवादित बयान दिया था. यह बयान कई दिनों तक सुर्खियों में रहा था और इसके बयान पर पलटवार करने के कारण स्वाति सिंह, बीजेपी की यूपी में सबसे बड़ी महिला नेता के रूप में उभर गई थीं. फिलहाल वह उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री हैं.
क्या है गेस्ट हाउस कांड
दरअसल, 1993 में सपा और बसपा ने गठबंधन करके सरकार बनाई थी, लेकिन 3 जून, 1995 को यह सरकार मायावती और मुलायम सिंह यादव के बीच मनमुटाव के कारण गिर गई. इससे पहले 2 जून, 1995 को मायावती के समर्थन वापसी के बाद जब मुलायम सरकार पर संकट के बादल गहराए तब कई सपा नेता बेचैन हो गए. नाराज सपा कार्यकर्ता और विधायक लखनऊ के मीराबाई मार्ग स्थित स्टेट गेस्ट हाउस पहुंच गए, जहां मायावती कमरा नंबर-1 में ठहरी हुई थीं. मायावती के जीवन पर आधारित अजय बोस की किताब 'बहनजी' के मुताबिक, उस दिन गेस्ट हाउस के कमरे में बंद मायावती के साथ कुछ गुंडों ने बदसलूकी और हाथापाई की.