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Gold ETF: सोना सपना नहीं... अब होगा अपना! 100 रुपये से भी कम में खरीदें प्योर गोल्ड, जानिए कैसे?

Gold ETF SIP: आप 100 रुपये से भी कम में गोल्ड ETF खरीद सकते हैं. सबसे बेहतर विकल्प ये होगा कि आप गोल्ड ईटीएफ में SIP करें, जैसा कि आप म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) में SIP करते हैं.

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हर हफ्ते 100 रुपये से गोल्ड ETF में निवेश की शुरुआत कर सकते हैं.
हर हफ्ते 100 रुपये से गोल्ड ETF में निवेश की शुरुआत कर सकते हैं.

सोना 1 लाख रुपये पार कर चुका है, सोने की कीमतें पिछले कुछ वर्षों में तेजी से बढ़ी हैं. वैसे तो कम आमदनी वालों के लिए सोना एक सपना बनता जा रहा है, लेकिन एक विकल्प है, जिससे 10-20 हजार रुपये कमाने वाले भी सोना खरीद सकते हैं, और भविष्य में उससे मोटा पैसा भी बना सकते हैं. ये विकल्प है- Gold ETF यानी (Gold Exchange-Traded Fund). 

गोल्ड ETF एक इन्वेस्टमेंट फंड होता है, जिसकी शेयर बाजार में एक्सचेंजों पर शेयरों की तरह ही खरीद-फरोख्त होती है. इलेट्रॉनिक फॉर्म में होने की वजह से ये सुरक्षित होते हैं. यह फिजिकल गोल्ड (Physical Gold) के मुकाबले ज्यादा लिक्विड (Liquid) होता है, यानी इसकी खरीद-फरोख्त आसान होती है. 

कितने का खरीद सकते हैं गोल्ड ETF?
आप 100 रुपये से भी कम में गोल्ड ETF खरीद सकते हैं. सबसे बेहतर विकल्प ये होगा कि आप गोल्ड ईटीएफ में SIP करें, जैसा कि आप म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) में SIP करते हैं. म्यूचुअल फंड से भी बेहतर विकल्प आपको गोल्ड ETF में निवेश के लिए मिल जाएगा. आप गोल्ड ईटीएफ में डेली, वीकली और मंथली SIP कर सकते हैं. 

उदाहरण के लिए अगर आप चाहे तो, हर हफ्ते 100 रुपये से गोल्ड ETF में निवेश की शुरुआत कर सकते हैं. इससे फायदा ये होगा कि आपके ऊपर बाजार में उतार-चढ़ाव का ज्यादा असर नहीं होगा, साथ ही लंबी अवधि में बेहतर रिटर्न मिलेगा. जब कई साल तक आप गोल्ड ETF में SIP करते रहेंगे, तो बड़ा फंड जुटा लेंगे. इसके अलावा जब मर्जी आप ट्रेडिंग सेशन के दौरान ETF को बेच भी सकते हैं, और अगले दिन अमाउंट आपके बैंक खाते में आ जाएगा.  इसलिए अगर आज सोना 1 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम है तो आपको घबराना है. एक दिन ऐसा भी आएगा, जब सोना 2 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम भी हो जाएगा. 

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गोल्ड ETF की मुख्य विशेषताएं-
- आपको सोना खरीदकर स्टोर करने की जरूरत नहीं, ETF डिजिटल रूप से सोने में निवेश की सुविधा देता है.
- स्टॉक की तरह इन्हें आसानी से खरीदा-बेचा जा सकता है.
- फिजिकली सोना खरीदने की तुलना में स्टोरेज, मेकिंग चार्ज, और शुद्धता की चिंता नहीं.
- गोल्ड ETF की कीमत बाजार में सोने की कीमत के आधार पर तय होती है.
- यह डिजिटल निवेश है, चोरी या नुकसान का जोखिम नहीं होता है. 

भारत में गोल्ड ETF के उदाहरण:
Gold BeES
SBI Gold ETF
Nippon India ETF Gold BeES
HDFC Gold ETF
ICICI Prudential Gold ETF
Kotak Gold ETF

गोल्ड ETF में निवेश कैसे करें?
गोल्ड ETF में निवेश के लिए आपके पास डीमैट अकाउंट और ट्रेडिंग अकाउंट होना जरूरी है. अपने ब्रोकर के प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध गोल्ड ETF की सूची देखें. स्टॉक एक्सचेंज (BSE/NSE) पर गोल्ड ETF की खोज करें. शेयर की तरह ही ETF को स्टॉक एक्सचेंजों पर खरीदा और बेचा जाता है. ईटीएफ को ट्रेडिंग अवधि के दौरान किसी भी समय बेचा जा सकता है. बिल्कुल जिस तरह आप शेयर खरीदते और बेचते हैं. 


गौरतलब है कि फिलहाल देश में ETF की खूब चर्चा हो रही है. कुछ लोग ETF को म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) से निवेश का बेहतर विकल्प मान रहे हैं. हालांकि अभी भी देश में ETF के मुकाबले म्यूचुअल फंड में निवेश करने वालों की संख्या काफी ज्यादा है. लेकिन ये भी सच है कि गत वर्षों में ETF की तरह लोगों का झुकाव बढ़ा है, निवेशक अब ETF के बारे में जानना गहराई से चाहते हैं.

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ETF क्या है?
आसान तरीके से समझें तो ETF एक निवेश का विकल्प है. एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ETF) के जरिये शेयर बाजार में निवेश किए जाते हैं. ETF के माध्यम से शेयरों के एक सेट में निवेश किया जाता है. ये आमतौर पर एक खास इंडेक्स को ट्रैक करता है.

आइए जानते हैं, म्यूचुअल फंड के मुकाबले ईटीएफ में निवेश करना क्यों फायदेमंद है. 
- जिस तरह से शेयर की खरीद-बिक्री करते हैं, ठीक उसी तरह से EFT की भी खरीद-बिक्री कर सकते हैं. 
- शेयर बाजार में ट्रेडिंग के दौरान ETF पर नजर रख सकते हैं, इसमें निवेश ज्यादा पारदर्शी होता है. 
- ईटीएफ को आसानी से बेचा जा सकता है, जिस तरह से शेयर को बेचते हैं. 
- ETF के जरिये अलग-अलग सेक्टर में निवेश किया जा सकता है.
- ईटीएफ से मिलने वाले डिविडेंड पर कोई आयकर नहीं लगता है. 
- म्यूचुअल फंड के मुकाबले  ईटीएफ में निवेश पर कम एक्सपेंस रेशियो लगता है. 
- ETF की निकासी पर निवेशकों को कोई एग्जिट लोड नहीं देना पड़ता है.
- अगर म्यूचुअल फंड में SIP करते हैं तो हर महीने ये ऑटोडेबिट हो जाएगा, जबकि ETF में जब आपका मन हो, तब निवेश कर सकते हैं.   

ETF में कई तरह की संपत्तियां (जैसे स्टॉक, बॉन्ड, कमोडिटीज़) शामिल हो सकती हैं, और यह किसी इंडेक्स (जैसे NIFTY 50 या S&P 500), सेक्टर, या थीम को ट्रैक करता है.

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(नोट: ETF में निवेश से पहले वित्तीय सलाहकार की मदद जरूर लें)

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