मीरा कुमार ने लोकसभा अध्यक्ष बनने के बाद से 35 महीने में 29 बार विदेश दौरा किया है. इसका मतलब है कि करीब हर 37 दिन में वह एक बार विदेश दौरे पर गई हैं.
आरटीआई कार्यकर्ता सुभाष चंद्र अग्रवाल के आरटीआई आवेदन के जवाब में बताया गया कि कुमार ने विभिन्न दलों के सांसदों और लोकसभा सचिवालय के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ 28 देशों का दौरा किया है. इसपर कुल खर्च करीब 10 करोड़ रुपये आए हैं.
लोकसभा सचिवालय के द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार जिस देश की सर्वाधिक बार उन्होंने यात्रा की है, वह है स्विट्जरलैंड. उस देश की यात्रा उन्होंने अंतर संसदीय यूनियन (आईपीयू) के कार्य के सिलसिले में की है.
कुमार को तीन जून 2009 को लोकसभा अध्यक्ष निर्वाचित किया गया था. तब से कुल मिलाकर इस साल 30 अप्रैल तक उन्होंने 146 दिन विदेश यात्रा की है.
आईपीयू के कार्य के लिए कुमार ने चार देशों की सात बार यात्रा की. उन्होंने चार बार स्विट्जरलैंड और अमेरिका, पनामा और थाईलैंड की एक-एक बार यात्रा की.
इसके अतिरिक्त उन्होंने कॉमनवेल्थ पार्लियामेंटरी एसोसिएशन के काम के सिलसिले में त्रिनिदाद एवं टोबैगो, ब्रिटेन, श्रीलंका, आइल ऑफ मैन, स्वाजीलैंड, केन्या और तंजानिया की यात्रा की.
कुमार ने संसदीय प्रतिनिधिमंडल के साथ इटली, आस्ट्रिया, मॉरिशस, भूटान, हंगरी, लक्जमबर्ग, मंगोलिया, मेक्सिको, वियतनाम, रिपब्लिक ऑफ कोरिया, स्वीडन, डेनमार्क, जापान, ईरान, चिली, उरूग्वे और पैराग्वे की यात्रा की.
अमेरिका, त्रिनिदाद एवं टोबैगो, श्रीलंका, आइल ऑफ मैन और स्वाजीलैंड की यात्रा के दौरान उनके साथ सिर्फ संसद के अधिकारी थे जबकि शेष यात्राओं के दौरान उनके साथ सांसद भी थे.
जवाब के अनुसार इन यात्राओं पर कुल खर्च 9.89 करोड़ रुपये आए. उन्होंने अपने मेजबानों को 11.66 लाख रुपये का तोहफा भी दिया.