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थप्पड़ मारने से निकल जाता है बड़े से बड़ा गुस्सा

6 फरवरी को स्लैप डे पर विशेषअभी तक आपने यही सुना होगा कि किसी को थप्पड़ मारने से काम बिगड़ जाता है. मगर ऐसा नहीं है. कई बार थप्पड़ मारना अच्छा भी होता है.

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थप्पड़, slap
थप्पड़, slap

6 फरवरी को स्लैप डे पर विशेष
अभी तक आपने यही सुना होगा कि किसी को थप्पड़ मारने से काम बिगड़ जाता है. मगर ऐसा नहीं है. कई बार थप्पड़ मारना अच्छा भी होता है.

मनोविश्लेषकों का मानना है कि अगर आपको किसी पर बहुत तेज गुस्सा आ रहा है. इतना कि आप उसे जान से मारने की सोच रहे हैं तो उसे सिर्फ एक तमाचा जड़ दीजिए आपका सारा गुस्सा निकल जाएगा. लेकिन हां इसे अपने बॉस पर मत आजमाइये वरना आपकी नौकरी ही खतरे में पड़ जायेगी.

मनोविशलेषक डॉक्टर मेधा गोरे ने बताया, ‘‘गर आप किसी से इस हद तक नाराज हैं कि उसकी शक्ल तक देखना नहीं चाहते तो उसे एक थप्पड़ मार लीजिए आपका गुस्सा तुरंत कम हो जाएगा.

दरअसल जब भी हमें गुस्सा आता है तो हमारे शरीर में एक खास तरह का हार्मोन निकलने लगता है. वह हार्मोन हमारे शरीर में उर्जा के स्तर को बढ़ाता है जिससे हमारे शरीर में गर्मी बढ़ती है और हमारा गुस्सा ज्यादा तेज होता जाता है. लेकिन जब हम किसी को थप्पड़ मारते हैं तो हमारे शरीर की उर्जा का एक बड़ा हिस्सा जो गुस्से को बढ़ा रहा था थप्पड़ मारने में चला जाता है.{mospagebreak}

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इसी कारण हमारा गुस्सा धीरे-धीरे कम होने लगता है.’ मनोविश्लेषक डॉक्टर संजीव त्यागी का कहना है, ‘गुस्सा आने पर हमारा सबसे खतरनाक कदम होता है किसी को शारीरिक तौर पर नुकसान पहुंचाना और जब आप उसे शारीरिक तौर पर नुकसान पहुंचा देते हैं तो आपका दिमाग उसके आगे कुछ सोच नहीं पाता और आपका गुस्सा खुद-ब-खुद शांत होने लगता है. सिर्फ इतना ही नहीं आपको एक तरह का मानसिक संतोष होने लगता है कि मैंने उसे थप्पड़ मारा.

यह मानसिक संतोष आपके भीतर के गुस्से को पिघला देता है. आपके भीतर गुस्से को बढ़ा रहे हार्मोन का निकलना कम हो जाता है और गुस्सा शांत होने लगता है.’

डॉक्टर गोरे का कहना है, ‘थप्पड़ मारने से गुस्सा खत्म जरूर हो जाता है मगर हमेशा इस उपाय का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए. यह गुस्सा निकालने का अंतिम उपाय है. अगर आप किसी छोटी सी बात पर नाराज होकर थप्पड़ मारेंगे तो बात और बिगड़ेगी. इसलिए कोशिश करें कि इसे ऐसे किसी वक्त इस्तेमाल करें जब आपके मन में गुस्से के बदले हिंसा की भावना जग रही हो यानी किसी भी सामान्य गुस्से के लिए इसका इस्तेमाल बिल्कुल न करें.’ {mospagebreak}

डॉक्टर त्यागी का कहना है, ‘जब हम गुस्से में होते हैं तो हमारे भीतर रक्त संचार की गति बढ़ जाती है. अगर उस वक्त हम उसे नियंत्रित कर सकें तो गुस्सा अपने आप निकल जाएगा. गुस्से में किसी को मारा गया थप्पड़ यही काम करता है. वह हमारे शरीर के रक्त संचार की रफ्तार को कम कर देता है और हमारा गुस्सा शांत हो जाता है.’

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गुस्सा सभी के लिए नुकसानदेह है. इसलिए कभी भी ज्यादा देर गुस्से में नहीं रहना चाहिए. मगर हमेशा गुस्सा खत्म करने के लिए थप्पड़ का इस्तेमाल भी नहीं करना चाहिए क्योंकि जो काम प्यार कर सकता है वह थप्पड़ नहीं कर सकता. इसलिए जब तक आपका गुस्सा चरम स्थिति में न हो आप थप्पड़ का इस्तेमाल न करें तो बेहतर होगा.

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