भारत में वक्फ संपत्ति की देखरेख और प्रबंधन के लिए विशेष कानून बनाए गए हैं (Waqf Law). वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 का उद्देश्य वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में सुधार करना, संबंधित हितधारकों को सशक्त बनाना, सर्वेक्षण, पंजीकरण और मामले के निपटान प्रक्रियाओं की दक्षता में सुधार करना और वक्फ संपत्तियों का विकास करना है.
वक्फ अधिनियम 'औकाफ' यानी दान की गई और वक्फ के रूप में नामित संपत्ति को विनियमित करने के लिए स्थापित किया गया था. वक्फ के तहत कोई व्यक्ति जो मुस्लिम कानून द्वारा पवित्र, धार्मिक या धर्मार्थ के रूप में मान्यता प्राप्त उद्देश्यों के लिए संपत्ति दान करता है.
2 अप्रैल 2025 को Waqf Amendment Bill लोकसभा में पेश किया गया. केंद्रीय अल्पसंख्यक मंत्री किरेन रिजीजू ने लोकसभा में इस बिल को पेश किया. वक्फ संशोधन बिल पर लोकसभा में वोटिंग हुई, जिसमें 464 कुल वोटों में से 288 पक्ष में और 232 विरोध में रहे. दूसरे दिन यानी 3 अप्रेल को लंबी चर्चा के बाद राज्यसभा में भी वक्फ संशोधन बिल पारित हो गया. इसके समर्थन में 128 सांसदों ने वोट दिया और विरोध में 95 वोट दिए.
किरेन रिजिजू ने 8 अगस्त 2024 को ये बिल लोकसभा में पेश किया था, जिसे विपक्ष के हंगामे के बाद संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) को भेज दिया गया था. जगदंबिका पाल की अगुवाई वाली जेपीसी की रिपोर्ट के बाद इससे संबंधित संशोधित बिल को कैबिनेट ने मंजूरी दे दी थी.
भारत में वक्फ से संबंधित पहली कानूनी व्यवस्था ब्रिटिश शासनकाल में शुरू हुई थी. 1913 में मुस्लिम वक्फ वैधता अधिनियम (Muslim Waqf Validating Act) और 1954 में वक्फ अधिनियम, 1954 लागू किया गया था.
मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश वक्फ बोर्ड देश का आदर्श वक्फ बोर्ड है. उन्होंने इसके लिए अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री कृष्णा गौर, बोर्ड के चेयरमेन सनवर पटेल और विभागीय अधिकारियों की सराहना भी की.
वक्फ कानून पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई अगले बुधवार तक टल गई है और अब जस्टिस बीआर गवई की बेंच इस मामले को देखेगी; केंद्र सरकार ने हलफनामा देकर कानून का समर्थन किया है. उधर यूपी कांग्रेस अध्यक्ष अजय राय ने राफेल विमान पर नींबू मिर्ची का जिक्र कर पूछा कि 'कब यहाँ से हटेगी और कब बदला लिया जाएगा?'
वक्फ कानून पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई 14 मई तक टल गई है, मामला जस्टिस बीआर गवई की बेंच सुनेगी. केंद्र सरकार ने हलफनामा दाख़िल कर कहा कि वक्फ मुसलमानों की धार्मिक संस्था नहीं है और कानून पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए है. चीफ जस्टिस खन्ना के रिटायरमेंट के कारण मामला जस्टिस गवई की बेंच को सौंपा गया, जिस पर 75 याचिकाएं दायर हैं.
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने 17 अप्रैल को इन याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए वक्फ संपत्तियों को डिनोटिफाई करने, सेंट्रल वक्फ काउंसिल समेत बोर्ड्स में नई नियुक्तियों पर रोक लगा दिया था.
वक्फ संशोधन एक्ट की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली पांच याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई होगी..सुप्रीम कोर्ट ने 17 अप्रैल को इन याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए वक्फ संपत्तियों को डिनोटिफाई करने, सेंट्रल वक्फ काउंसिल समेत बोर्ड्स में नई नियुक्तियों पर रोक लगा दिया था. आज दोपहर 2 बजे वक्फ कानून पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी है.
वक्फ संशोधन एक्ट की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली पांच याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई करेगा. केंद्र ने अपने हलफनामे में कानून को वैधानिक बताते हुए इस पर रोक न लगाने का आग्रह किया है, जबकि याचिकाकर्ताओं का कहना है कि आरएसएस की एक कोशिश है कि भारत के मुसलमानों से उनकी मस्ज़िदों को छीन लिया जाए.
सुप्रीम कोर्ट में वक्फ संशोधन कानून की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई होनी है. इनमें ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी की ओर से दायर याचिका भी शामिल है.
केंद्र ने 25 अप्रैल को अपने जवाबी हलफनामे में संशोधित वक्फ कानून का बचाव किया और संसद की ओर से पारित कानून पर अदालत की ओर से किसी भी 'पूर्ण रोक' का विरोध किया. सरकार ने हलफनामे में 'वक्फ बाई यूजर' संपत्तियों के प्रावधान को भी सही ठहराया था.
सुप्रीम कोर्ट में 5 मई को वक्फ संशोधन कानून की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर सुनवाई होगी. इससे पहले सर्वोच्च अदालत ने पिछली सुनवाई के दौरान इस कानून के दो मुख्य पहलुओं पर रोक लगा दी थी.
AIMPLB ने सरकार के हलफनामे को आंकड़ों की हेराफेरी बताते हुए कहा है कि सरकार वक्फ संपत्तियों में वृद्धि का दावा कर रही है जो कि गलत है. सरकार के हलफनामे में दिए गए आंकड़े सही नहीं हैं. बोर्ड ने उस अधिकारी के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है जिसने यह हलफनामा दायर किया है.
छत्तीसगढ़ वक्फ बोर्ड ने भारत में पहली बार वक्फ संपत्तियों के किराए की ऑनलाइन वसूली शुरू की है. इससे इनकम में बड़ा इज़ाफा होगा और बिचौलियों का खेल खत्म होगा.
वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष ने बताया कि पहले बोर्ड को सालाना 5 लाख रुपए भी किराए से नहीं मिलते थे. अब इस ऑनलाइन सिस्टम से हमें उम्मीद है कि आय सैकड़ों करोड़ रुपए तक बढ़ सकती है. यह पैसा गरीब और जरूरतमंद मुसलमानों के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य और कल्याण योजनाओं में लगाया जाएगा.
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भाजपा सांसद अनुराग ठाकुर द्वारा वक्फ जमीन हड़पने के आरोपों पर जोरदार प्रतिक्रिया दी। खड़गे ने कहा कि अगर आरोप साबित हो गए तो वह इस्तीफा दे देंगे, लेकिन डर कर झुकने वाले नहीं हैं। उन्होंने आरोपों को बेबुनियाद बताते हुए ठाकुर से माफी की मांग की और अपने स्वाभिमान की रक्षा की बात कही।
वक्फ संशोधन कानून को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर केंद्र सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में जवाबी हलफनामा दाखिल कर दिया है. सरकार ने कहा है कि इस कानून से किसी संवैधानिक अधिकार या प्रक्रिया का हनन नहीं होता और यह पूरी चर्चा के बाद लाया गया है. हलफनामे के अनुसार, 'पुराना वक्फ कानून वक्फ की आड़ में सरकारी और निजी जमीन हड़पने का एक बड़ा सुरक्षित स्वर्ग बन गया था'.
बंगाल पुलिस की साइबर टीम ने कहा, '24 अप्रैल 2025 को रिकॉर्ड किया गया यह वीडियो प्रदर्शन के एक हिस्से को दिखाता है, जिसमें प्रदर्शनकारी पाकिस्तान का झंडा जलाते हुए और 'पाकिस्तान मुर्दाबाद' जैसे नारे लगाते हुए नजर आते हैं. वीडियो के किसी भी हिस्से में 'पाकिस्तान जिंदाबाद' या 'हिंदुस्तान मुर्दाबाद' जैसे नारे सुनाई नहीं देते. वास्तव में, तहफ्फुज अवकाफ कमेटी के संयोजक मुफ्ती सईद असद कासमी ने स्पष्ट किया कि इस प्रदर्शन के दौरान 'हिंदुस्तान जिंदाबाद' और 'संविधान जिंदाबाद' जैसे नारे लगाए गए थे.'
केंद्र सरकार ने वक्फ संशोधन एक्ट पर सुप्रीम कोर्ट में जवाबी हलफनामा दाखिल किया है. सुप्रीम कोर्ट में दाखिल जवाब में सरकार ने कानून का बचाव करते हुए यानी इसे सही ठहराते हुए कहा है कि पिछले 100 साल से वक्फ बाई यूजर को केवल रजिस्ट्रेशन के आधार पर मान्यता दी जाती है ना कि मौखिक रूप से.
केंद्र सरकार ने हलफनामे में कहा कि वक्फ मुसलमानों की कोई धार्मिक संस्था नहीं बल्कि वैधानिक निकाय है. वक्फ संशोधन कानून के मुताबिक मुतवल्ली का काम धर्मनिरपेक्ष होता है न कि धार्मिक. ये कानून चुने गए जनप्रतिनिधियों की भावनाओं को दर्शाता है.
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने बयान जारी करते हुए कहा, "शोक संतप्त परिवारों के साथ एकजुटता के प्रतीक के रूप में बोर्ड ने वक्फ अधिनियम में 'विवादास्पद संशोधनों' के खिलाफ अपने अभियान को तीन दिनों के लिए स्थगित कर दिया है."
वक्फ कानून को लेकर अब नई जोर आजमाइश चल रही है. कहीं विरोध की मुट्ठियां भिंची हुई हैं. कहीं समर्थन का मंथन हो रहा है. वक्फ कानून पर दिल्ली से मुंबई तक की मोर्चाबंदी है. एक तरफ मुस्लिम संगठन वक्फ कानून का लगातार विरोध कर रहे हैं.
केंद्र सरकार ने वक्फ कानून के फायदे बताने के लिए मुहिम शुरू की है. कानून मंत्री किरेन रिजिजू और केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि यह कानून आम मुसलमान के भले के लिए है और विपक्ष भ्रम फैला रहा है। एक वक्ता ने स्पष्ट किया कि "गरीब मुसलमानों को फायदा पहुंचाना" और संपत्ति के दुरुपयोग को रोकना मुख्य लक्ष्य है.
वक्फ कानून को लेकर दिल्ली से मुंबई तक राजनीतिक और सामाजिक टकराव तेज़ हो गया है. एक ओर ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड जैसे संगठन कानून का विरोध कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर बीजेपी ने कानून के समर्थन में जनजागरण अभियान शुरू किया है, जिसके तहत बुकलेट बांटी जा रही हैं.