शिवसेना
शिवसेना (Shiv Sena) भारत का एक दक्षिणपंथी मराठी क्षेत्रीय और अतिराष्ट्रवादी राजनीतिक दल है ( Right-wing Marathi Regionalist and Ultranationalist Political Party). 1960 में बॉम्बे के एक कार्टूनिस्ट बाल ठाकरे (Bal Thackeray) ने व्यंग्यपूर्ण कार्टून साप्ताहिक मार्मिक का प्रकाशन शुरू किया (Satirical Cartoon Weekly Marmik). इस प्रकाशन के माध्यम से उन्होंने प्रवासी विरोधी भावनाओं का प्रसार करना शुरू कर दिया. 19 जून 1966 को, ठाकरे ने एक राजनीतिक संगठन के रूप में शिवसेना की स्थापना की (Thackeray founded the Shiv Sena). शिव सेना मूल रूप से बॉम्बे में राष्ट्रवादी आंदोलनों से उभरी, जिसने समय के साथ यहां आने वाले प्रवासियों पर महाराष्ट्रीयन को तरजीह देने की वकालत की. इसका चुनाव चिन्ह धनुष और तीर है (Shiv Sena Party Symbol). उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray), बाल ठाकरे के बेटे, पार्टी के नेता हैं और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री के रूप में कार्यरत हैं. शिव सेना की बॉलीवुड (Bollywood) फिल्म उद्योग पर एक शक्तिशाली पकड़ है.
हालांकि पार्टी का प्राथमिक आधार अभी भी महाराष्ट्र में है, लेकिन इसने अखिल भारतीय आधार तक विस्तार करने की कोशिश की है. 1970 के दशक में, यह धीरे-धीरे एक व्यापक हिंदू राष्ट्रवादी एजेंडे का समर्थक बन गई और खुद को भारतीय जनता पार्टी के साथ जोड़ लिया. 1989 में, इसने लोकसभा के साथ-साथ महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों के लिए भाजपा के साथ गठबंधन किया. दोनों ने 1995-1999 के बीच महाराष्ट्र में सरकार बनाई. शिवसेना 1999 से 2014 तक भाजपा के साथ राज्य में विपक्षी दल थी. 2014 के महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में शिवसेना और भजपा ने स्वतंत्र रूप से चुनाव लड़ा था, लेकिन दोनों पार्टियों ने मिलकर सरकार बनाई. यह 1998-2019 के दौरान राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन में एक गठबंधन सहयोगी थी. अक्टूबर 2019 में महाराष्ट्र चुनाव के बाद, शिवसेना ने दावा किया कि उनके गठबंधन सहयोगी भाजपा ने वादे पूरे नहीं किए और नाता तोड़ लिया. बाद में, पार्टी ने महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के साथ हाथ मिलाया. परंपरागत रूप से शिवसेना का मुख्य गढ़ मुंबई और कोंकण तटीय क्षेत्र रहा है.
उद्धव ठाकरे 17 नवंबर 2012 को अपने पिता बाल ठाकरे की मृत्यु के बाद पार्टी के नेता बने लेकिन उन्होंने "शिवसेना प्रमुख" (शिवसेना सुप्रीमो) की उपाधि लेने से इनकार कर दिया (Shiv Sena Political Journey).
राज ठाकरे और उद्धव ठाकरे मराठी भाषा के मुद्दे पर साथ आ गये हैं, लेकिन संजय राउत को बाहरी दबाव की आशंका सता रही है. संजय राउत ने शक जताया है कि अभी गठबंधन नहीं हुआ है, और राजनीतिक विरोधी ऐसा होने नहीं देना चाहेंगे.
सुप्रीम कोर्ट ने शिवसेना नाम और सिंबल विवाद मामले में उद्धव बनाम शिंदे मामले में सुनवाई को अगस्त तक के लिए टाल दिया है. ठाकरे गुट की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कोर्ट में तर्क किया कि अंतरिम राहत पहले संविधान की पीठ के फैसले से दी गई थी, लेकिन अब मुख्य मामले की सुनवाई होनी चाहिए.
महाराष्ट्र की सियासत में इन दिनों कई बड़े घटनाक्रम सामने आए हैं. शिवसेना कोटे से मंत्री का वीडियो सामने आया है, जिसमें वे सिगरेट पीते हुए और कैश से भरे बैग के साथ दिख रहे हैं. इस वीडियो को शिवसेना यूबीटी सांसद ने साझा किया है, जिसके बाद सियासी घमासान छिड़ गया है. देखें मुंबई मेट्रो.
सोशल मीडिया पर वायरल वीडियो में, गायकवाड़ खाने की खराब क्वालिटी को लेकर कैंटीन के कर्मचारियों को डांटते हुए दिखाई दे रहे हैं. वह कैंटीन कर्मचारियों को दाल का पैकेट सुंघाते हैं और फिर कॉन्ट्रैक्टर को थप्पड़ और घूंसे मारते हैं.
मुंबई में MLA आवास में कैंटीन ठेकेदार से मारपीट करने वाले शिवसेना विधायक में अब दक्षिण भारतीयों को लेकर विवादित टिप्पणी की है. उन्होंने दक्षिण भारत के लोगों में महाराष्ट्र की संस्कृति खराब करने का आरोप लगाया और कहा कि मैंने वेटर को नहीं, मैनेजर को मारा. मेरा तरीका गलत हो सकता है, लेकिन मकसद सही था. अगर कोई ऐसा दोबारा करता है तो मैं फिर से मारूंगा.
मुंबई से शिवसेना के विधायक संजय गायकवाड की गुंडागर्दी की तस्वीरें सामने आई हैं. विधायक ने एक कैंटीन के ठेकेदार को पीटा. विधायक इस बात से नाराज थे कि ठेकेदार ने अपनी कैंटीन से जो खाना विधायक को दिया, वह गुणवत्ता वाला नहीं था और उसे खाने से विधायक की तबियत खराब हो गई. वायरल वीडियो पर विधायक क्या बोले. देखिए.
मुंबई में शिवसेना शिंदे गुट के विधायक ने विधायक हॉस्टल की कैंटीन में खराब दाल परोसे जाने के बाद कैंटीन संचालक को पीटा. विधायक संजय गायकवाड़ ने इस मारपीट को सही ठहराया. उन्होंने कहा कि जब कोई उन्हें जहरीला खाना खिला रहा हो तो उनकी प्रतिक्रिया सही थी.
शिवसेना के विधायक संजय गायकवाड़ ने मुंबई के सरकारी आकाशवाणी विधायक गेस्ट हाउस की कैंटीन में बासी खाना मिलने का आरोप लगाते हुए ठेकेदार को बुरी तरह पीटा. विधायक ने कैमरे के सामने कहा कि उनको जान से मारने की कोशिश हुई. उन्हें जानबूझकर खराब खाना दिया गया. देखें मुंबई मेट्रो.
महाराष्ट्र की राजनीति में हिंदी बोलने वालों के फेवर में कोई सामने नहीं आ रहा है. महाराष्ट्र सरकार और मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के मुंह में तो जैसे दही जम गया हो. दूसरा कोई मामला होता तो बीजेपी के विरोध में कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, आरजेडी जैसे दल खड़े हो गए होते. पर यहां ठाकरे बंधुओं को ललकारने वाला एक मराठी नितेश राणा ही सामने आए हैं.
मुंबई में विधायकों के आधिकारिक निवास में खाने की गुणवत्ता को लेकर एक घटना सामने आई है. सत्ताधारी शिवसेना के विधायक संजय गायकवाड़ ने कैंटीन ठेकेदार की पिटाई कर दी. विधायक संजय गायकवाड़ आकाशवाणी विधायक निवास के कमरा नंबर 107 में ठहरे हुए थे. उन्होंने और उनके साथियों ने कैंटीन से खाना मंगवाया था. विधायक के अनुसार, कैंटीन ने उन्हें घटिया खाना, खासकर दाल परोसी, जिसके बाद उनकी तबियत थोड़ी खराब लगने लगी. इसके बाद विधायक सीधे ग्राउंड फ्लोर पर मौजूद कैंटीन में गए और कैंटीन चलाने वाले ठेकेदार की पिटाई कर दी.
वीडियो में संजय गायकवाड़ बनियान और तौलिया पहने हुए कैंटीन ठेकेदार से बहस करते नजर आ रहे हैं. वह पहले ठेकेदार को दाल सूंघाते हैं और फिर अचानक उसे जोरदार घूंसा मारते हैं जिससे वह नीचे गिर जाता है. जब ठेकेदार उठता है, विधायक उसे दोबारा थप्पड़ मारते हैं. इसके बाद गायकवाड़ कहते हैं, 'अपने स्टाइल से' ठेकेदार को सबक सिखा दिया.
मुंबई में शिवसेना यूबीटी और मनसे की संयुक्त रूप से विजय दिवस रैली हुई. मराठी भाषा के नाम पर ठाकरे बंधुओं ने खुलकर गुंडागर्दी को शह देने की बात की. इस बीच महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस क्यों आंख मूंदे हुए हैं ?
संजय निरुपम ने राज ठाकरे के उस बयान की आलोचना की है, जिसमें उन्होंने कहा कि मराठी बोले से मना करने वाले लोगों को पीटना चाहिए, लेकिन उसका वीडियो नहीं बनाना चाहिए. शिवसेना नेता ने कहा कि अगर उद्धव और राज इस तरह से अपनी पार्टी का जनाधार बढ़ाना चाहते हैं तो मैं आज गारंटी के साथ कह रहा हूं कि जनाधार नहीं बढ़ेगा, बल्कि उनका जनाधार कम हो जाएगा.
Uddhav-Raj Thackeray मिलकर लड़ेंगे BMC Election? संजय राउत बोले- “हम INDIA ब्लॉक का हिस्सा, लेकिन…”
महाराष्ट्र के ठाणे से शिवसेना (एकनाथ शिंदे) के सांसद नरेश म्हस्के को बॉम्बे हाईकोर्ट ने नोटिस जारी किया है. यह नोटिस अबू आजमी की याचिका पर जारी किया गया है. नरेश म्हस्के ने औरंगजेब की तारीफ करने वाले बयान के लिए आजमी के खिलाफ केस दर्ज कराया था.
महाराष्ट्र में हिंदी भाषा विवाद को लेकर शिवसेना उद्धव गुट और महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना एक साथ आ गए हैं, जिसके तहत उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे 5 जुलाई को एक मंच पर आकर सरकार के खिलाफ आवाज उठाएंगे. बीतेजी ने इस आंदोलन को 'नौटंकी' बताया है और सवाल उठाया है कि फरवरी 2022 में जब उद्धव ठाकरे खुद मुख्यमंत्री थे, तब उन्होंने हिंदी भाषा को क्यों स्वीकार किया था?
शिवसेना के वरिष्ठ नेता गजानन कीर्तिकर ने राज ठाकरे और उद्धव ठाकरे के एक साथ आने की इच्छा जताई है. उन्होंने कहा कि अगर दोनों भाई एक साथ आते हैं तो शिवसेना की ताकत बढ़ेगी. कीर्तिकर ने अखंड शिवसेना की मांग की है जिसमें एकनाथ शिंदे का गुट भी शामिल हो और बीजेपी के साथ 25 साल पुरानी युति बरकरार रहे.
यह जांच परभणी के अधिवक्ता मुजाहिद खान द्वारा दायर की गई शिकायत पर शुरू की गई है, जिन्होंने अपनी शिकायत में सवाल उठाया है कि जावेद रसूल और सालार जंग के परिवार के सदस्यों, मीर महमूद अली मजहर अली खान और पांच अन्य हैं, के बीच 'हिबानामा' कैसे हो सकता है, क्योंकि उनके बीच ब्लड रिलेशन नहीं है.
शिवसेना के स्थापना दिवस पर उद्धव ठाकरे और एकनाथ शिंदे के बीच तीखे हमले देखने को मिले. खास बात ये रही कि दोनों नेताओं के निशाने पर बीजेपी नजर आई, उद्धव ठाकरे के भाषण में प्रत्यक्ष तौर पर और एकनाथ शिंदे के बयान में परोक्ष रूप से. और हां, ये सब आने वाले बीएमसी चुनाव की तैयारियों का हिस्सा है.
शिवसेना के स्थापना दिवस पर उद्धव ठाकरे ने एकनाथ शिंदे को 'गद्दार' कहते हुए निशाना साधा, जिसके उत्तर में एकनाथ शिंदे ने उद्धव पर पलटवार किया. शिंदे ने स्वयं को बालासाहेब का असली उत्तराधिकारी बताते हुए कहा कि बाघ की खाल पहनने से कोई बाघ नहीं बन जाता है.
शिवसेना ने 19 जून 1966 को अपनी स्थापना के 59 साल पूरे किए. पार्टी इस समय दो गुटों में बंटी हुई है, और दोनों ही बालासाहेब ठाकरे की विरासत पर अपना दावा कर रहे हैं. महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे के एक साथ चुनाव लड़ने की संभावना पर काफी चर्चा है.