किसी व्यक्ति द्वारा किए गए बुरे कर्मों के कारण उसे एक अवधि तक इसका फल भोगना पड़ता है. कभी-कभी ये फल इतना कठोर हो जाता है कि जन्म जन्मातंर तक पीछा करता है. सावन की अमावस्या पर आप अपने पापों का नाश कर सकते हैं.