वैसे सिर्फ रंगों से ही नहीं, मथुरा-वृंदावन में तो फूलों, लड्डुओं से भी होली खेली जाती है और वाराणसी में तो चिता की राख से भी होली खेलने की परंपरा है. जिसे ‘मसाने की होली’ नाम से जाना जाता है. ये बहुत ही अलग तरह की होली होती है. देखें तस्वीरें.