क्या ताज महल गुलामी की निशानी है? क्या भारत के इतिहास से ताज महल को निकाल दिया जाना चाहिए? क्या हिंदू राजनीति के लिए ताज महल एक मुसलमान इमारत है? इन सारे सवालों पर एक महीने में तीसरी बार. हमें इसलिए सोचना पड़ रहा है कि सियासत की फितरत ने ताज पर तमाशा खड़ा कर दिया है. नया तमाशा सरधना से बीजेपी के विधायक संगीत सोम ने खड़ा किया है. ताज को यूपी पर्यटन की किताब से निकाले जाने पर उन्होने छाती ठोकते हुए कहा है कि ताज के इतिहास को वो मिटाकर रहेंगे. साथ ही उन्होंने यह तक कह दिया कि ताज महल को गद्दारों ने बनवाया था और उसका इतिहास भारत की संस्कृति पर एक दाग की तरह है.