किसी ने सच कहा है कातिल कितना भी चालाक क्यों ना हो कोई ना कोई ऐसी गलती जरूर कर बैठता है जिससे कानून के हाथ उस तक पहुंच ही जाते हैं. पर यहां तो चलाकी की बजाए उसने ऐसी बेवूकफी की कि भले ही देर से पर उसका पकड़ा जाना तय था. जिस जगह कत्ल हुआ और जहां पुलिस को जाना चाहिए था वहां उसने अपने दोस्त को भेज दिया और बस यहीं नाका का कातिल बंदी बन गया.