उत्तर प्रदेश में हाशिए पर खड़े और बदहाली के दौर से गुजर रहे पर्यटन स्थलों को विश्वस्तरीय बनाने के लिए राज्य सरकार अब विश्व बैंक के साथ मिलकर काम करेगी. पर्यटन स्थलों को संवारने के लिए विश्व बैंक ने 2,100 करोड़ रुपये का सहयोग प्रदान करने पर सहमति जताई है.
राज्य के पर्यटन मंत्री ओम प्रकाश सिंह ने को दिए साक्षात्कार में ये बातें कहीं. सिंह ने विशेष बातचीत में कहा कि राज्य के पर्यटन स्थलों के विकास को लेकर सरकार फिक्रमंद है. पर्यटन स्थलों को विश्वस्तरीय बनाने का काम अगले कुछ समय में शुरू किया जाएगा.
ओम प्रकाश सिंह ने कहा, 'राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सरकार कई कदम उठा रही है. अभी विश्व बैंक के साथ एक समझौता हुआ है, जिसके तहत वह 2,100 करोड़ रुपये इन पर्यटन केंद्रों के विकास पर खर्च करेगी. पर्यटन के लिहाज से उत्तर प्रदेश को चार क्षेत्रों में बांटा गया है और सरकार की यह कोशिश है कि हर पर्यटन स्थल का समुचित विकास हो सके.' सिंह ने कहा कि आगरा, मथुरा, सारनाथ, अयोध्या और वृंदावन के ऐतिहासिक और पौराणिक महत्व को देखते हुए इन केंद्रों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा.
सिंह से यह पूछे जाने पर कि गुजरात और मध्य प्रदेश की तरह पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार पर्यटन स्थलों की ब्रांडिंग क्यों नहीं कर रही है? इस सवाल के जवाब में पर्यटन मंत्री ने बड़ी ही साफगोई से कहा कि सूचना विभाग के पास इतना पैसा नहीं है कि विज्ञापनों के माध्यम से और किसी व्यक्ति को ब्रांड अंबेसडर बनाकर पर्यटन स्थलों की ब्रांडिंग कराई जाए. सबसे पहले यह बात समझनी होगी कि पर्यटन स्थलों का विकास ही सबसे महत्वपूर्ण काम है और इस दिशा में सरकार आगे बढ़ रही है.
पर्यटन मंत्री ने यह भी बताया कि विश्व बैंक की मदद से राज्य के पर्यटन क्षेत्र को एक नई दिशा मिलेगी. चूंकि, यह मुख्यमंत्री का डीम प्रोजेक्ट भी है, इसीलिए इस काम को जल्द से जल्द पूरा किए जाने की कोशिश की जाएगी. सिंह ने कहा कि सूबे में कई ऐसे स्थल हैं, जिनका एक बार विकास होने के बाद बहुत फायदा होगा. उदाहरण के तौर पर सरकार आगरा में स्थित ताजगंज का विकास कर रही है, वाराणसी के घाटों के नवीनीकरण और साफ-सफाई का काम जल्द ही शुरू किया जाएगा.
गृह जनपद गाजीपुर के पर्यटन क्षेत्रों के विकास के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, पर्यटन की दृष्टि से गाजीपुर के जितने भी स्थल हैं, उनके विकास के लिए सरकार ने करीब 10 करोड़ की राशि आवंटित की है, जिनमें कामख्या धाम मंदिर का विकास प्रमुख रूप से शामिल है.
राज्य में गिरती कानून व्यवस्था के सवाल पर सिंह ने कहा, आप लोगों को लगता
है कि कानून व्यवस्था खराब है, लेकिन ऐसा नहीं है. मीडिया द्वारा कानून
व्यवस्था खराब होने का प्रचार किया जा रहा है. वास्तविक स्थिति ऐसी नहीं
है.
सिंह ने कहा कि जहां कहीं भी स्थिति बिगड़ी है उसे सम्भालने के लिए
मुख्यमंत्री स्वयं आगे आए हैं. राज्य में हुए दंगे हों या फिर पूर्व मंत्री
राजा भैया का प्रकरण, सभी मामले में तत्काल और पारदर्शिता के साथ कार्रवाई
की गई है. सरकार की छवि खराब करने की कोशिश लगातार की जा रही है.
गाजीपुर संसदीय सीट से चुनाव लड़ने के बारे में पूछे जाने पर सिंह ने कहा,
यह बिल्कुल ही बेतुका सवाल है और उनके लिए लोकसभा का चुनाव लड़ना कोई माएने
नहीं रखता. उनके मुताबिक वह पहले ही इतना चुनाव लड़ चुके हैं कि अब इसकी
जरूरत महसूस नहीं होती. प्रदेश स्तर पर जो अहम जिम्मेदारी मिली है, उसी को
अच्छी तरह से निभाने का प्रयास कर रहे हैं.