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कानपुरः खेतों को टिड्डी दल के हमले से बचाने के लिए बजाए ड्रम और बर्तन

प्रदेश स्तर पर टिड्डी दल के नियंत्रण के लिए कंट्रोल रूम और टीमों का गठन किया जा चुका है. सीएम की ओर से डीएम और कृषि विभाग के अधिकारियों को टिड्डी दल से बचाव के लिए उचित कार्रवाई करने को कहा गया है.

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फाइल फोटो (PTI)
फाइल फोटो (PTI)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • बीते 26 साल में टिड्डियों का देश में ये सबसे घातक हमला
  • CM ने राहत-बचाव के लिए उचित कार्रवाई के निर्देश दिए

देश के कई राज्यों में टिड्डी दल आफत बनकर आए हैं. उत्तर प्रदेश में टिड्डियों के आक्रमण करने की स्थिति में ढोल, नगाड़े, टीन के डब्बे, थालियां बजाते हुए शोर मचाने की एडवाइजरी जारी की गई है. इस बीच कानपुर में टिड्डी दल के हमले के मद्देनजर लोग खेतों में ड्रम और बर्तन बजाते नजर आए.

वहीं, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सीमावर्ती जिलों के डीएम एवं कृषि विभाग के अधिकारियों को टिड्डी दल से बचाव के लिए उचित कार्रवाई करने को कहा है. साथ ही आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 की व्यवस्था के अनुसार डीएम को कोषागार नियम-27 के तहत संसाधनों की व्यवस्था के लिए धनराशि व्यय करने के निर्देश दिए गए हैं.

प्रदेश स्तर पर टिड्डी दल के नियंत्रण के लिए नियंत्रण कक्ष और टीमों का गठन किया जा चुका है, जो टिड्डी दलों के प्रदेश के सीमावर्ती क्षेत्रों में भ्रमण एवं उनकी गतिविधियों पर निगरानी रखकर संबंधित जिलों को आवश्यक सुरक्षात्मक निर्देश जारी कर रहा है.

नोएडा में किसानों को किया गया अलर्ट

टिड्डियों के हमले का खतरा दिल्ली-एनसीआर तक आ चुका है. खतरे से निपटने के लिए दिल्ली सरकार तैयारी कर रही है तो नोएडा में भी किसानों को अलर्ट किया गया है. बीते 26 साल में टिड्डियों का देश में ये सबसे घातक हमला है.

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राजस्थान, पंजाब, मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र के किसानों पर इन छोटे दुश्मनों का बड़ा कहर बरपा है. राजस्थान और मध्य प्रदेश में लाखों एकड़ फसल को नुकसान पहुंचाने वाली टिड्डियां अब उत्तर प्रदेश में दाखिल हो चुकी हैं.

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