दिल्ली गैंगरेप की तरह हैदराबाद में भी बीते दिनों गैंगरेप का एक घिनौना हादसा हुआ. लड़की अपने दफ्तर से घर वापस जाने के क्रम में बस स्टॉप पर इंतजार कर रही थी. तभी एक टैक्सी ड्राइवर ने उससे किराया लेकर आगे तक ड्रॉप करने की बात की और फिर कार को हॉस्टल के बजाय जंगल की तरफ लेकर युवकों ने उसका रेप किया. गिरफ्तार आरोपियों से जब पुलिस ने पूछा कि दिल्ली गैंगरेप के नतीजे देखकर तुम्हें डर नहीं लगा, तो उनका जवाब था कि हमें यकीन था कि वह शिकायत नहीं करेगी. उनके यकीन को पलीता लग गया पुलिस जांच से. लड़की ने भी शुरुआती झिझक के बाद सब सच बता दिया. सबसे पहले जानते हैं कि इस कायराना हरकत के शुरुआती ब्यौरे, जो बताए साइबराबाद के पुलिस कमिश्नर सीवी आनंद ने.
बस का इंतजार था, कैब मिली और बैठ गई
अभया हैदराबाद के साइबराबाद इलाके के एक मॉल में किसी सॉफ्टवेयर फर्म में टेक्निकल एक्सपर्ट के तौर पर काम करती है.बीते गुरुवार को वह शाम 7.30 बजे अपना काम खतम कर हॉस्टल के लिए निकली. बस से वह पहले स्टॉप तक पहुंची. यहां वह दूसरे रूट की बस का इंतजार कर रही थी. रात 8.45 पर एक वॉल्वो कार वहां रुकी.इसमें दो युवक बैठे थे. उन्होंने सवारी बैठाने के रोजमर्रा के अंदाज में लड़की से पूछा और अगले स्टॉपेज तक के 50 रुपये मांगे. अभया ने कहा कि वहां तक के कैब ड्राइवर 40 रुपये ही लेते हैं.
बॉयफ्रेंड को फोन किया, तो छीन लिया
जब लड़की कार में बैठ गई, तो वॉल्वो कार सवार युवा उसे हॉस्टल के बजाए नजदीकी मेडक जिले के जंगलों में ले गए और कार के अंदर ही उसके साथ रेप किया.दो घंटे बाद जब युवक कार के बाहर टहल रहे थे, तो अभया ने अपने बेंगलुरु में रह रहे बॉयफ्रेंड को कॉल किया. समय था रात के 10.50. अभी अभया कुछ बात करती, उसके पहले ही बलात्कारियों को उसकी आवाज सुनाई दे गई और वे वापस कार की तरफ आए और फोन छीन लिया.
उधर अधूरी कॉल के बाद अभया का बॉयफ्रेंड लगातार कॉल बैक करता रहा और जब उसे रेस्पॉन्स नहीं मला, तो उसने हैदराबाद में अपने दोस्तों से पुलिस में शिकायत दर्ज करवाने को कहा.पुलिस ने सर्च ऑपरेशन शुरू ही किया था कि खबर मिली कि कोई कार अभयान को उसके हॉस्टल के बाहर रात 1.45 बजे ड्रॉप कर चली गई.
शुरू में सुनाई किडनैप की कहानी
पुलिस हॉस्टल पहुंची और उसने अभया से पूछताछ शुरू की. अभया इस हादसे से इतनी डरी हुई थी कि शुरुआत में वह सीधे तौर पर यह बताने की हिम्मत ही नहीं कर पाई कि उसके साथ इतना घिनौना अपराध हुआ है. उसने पुलिस से कहा कि दो लड़कों ड्राइवर सतीश और वेंकट ने मेरा किडनैप किया. मगर जब मैंने शोर मचाया तो वे वापस छोड़ गए. लड़की ने अपने बॉयफ्रेंड को भी यही बताया. मगर पुलिस को इस कहानी पर यकीन नहीं हुआ. अभया के कपड़ों पर खून और संघर्ष के निशान साफ थे.वह आरोपियों के साथ पांच घंटे तक थी. यह रेप के अलावा कुछ और हो ही नहीं सकता था. अगली सुबह कुछ काउंसलिंग और हर चीज गुप्त रखने के यकीन मिलने के बाद उसने पुलिस को सच बताया.
वीडियो फुटेज के बाद शुरू हुई कार की तलाश
शुक्रवार शाम को लड़की ने हादसे का हर एक ब्यौरा पुलिस को बताया.और क्राइम सीन की तस्दीक की. इसके बाद पुलिस ने रेपिस्टों के रूट पर बने बिडला स्कूल के सीसीटीवी कैमरे से कार की फुटेज देखी.मगर ये फुटेज बहुत साफ नहीं थी.फिर साइबराबाद पुलिस ने नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी की मदद से कार के मॉडल की पहचान की. यह वोल्वो कार थी.मॉडल की पहचान हो गई थी. मगर कार का नंबर अभी भी समझ नहीं आ रहा था. ऐसे में पुलिस ने हैदराबाद की हर वोल्वो कार की तलाश शुरू की. वॉल्वो एस60 मॉडल की कुल 77 कारें थीं शहर में.इनमें से एक कार एक कारोबारी ने ट्रैवल एजेंसी से किराये पर ली थी. कारोबारी शहर से बाहर था और कार उसके ड्राइवर के हाथ थी. उसी ने इस जघन्य अपराध को अंजाम दिया.
पापा को पता चला तो मर जाऊंगी
जैसा कि हिंदुस्तान में इस तरह के अपराधों में होता आया है, रेप की शिकार लड़की सोच रही है कि यह सब उसकी गलती के चलते हुआ, वही गुनहगार है. वह पुलिस से बार बार कह रही है कि मेरे घरवालों को पता चल गया, तो मैं मर जाऊंगी.मेरे माता पिता आत्महत्या कर लेंगे.इस रवैये पर क्लीनिकल साइकैट्रिस्ट डॉ. पूर्णिमा नागाराजा कहती हैं कि रेप जैसे अपराध के बारे में भी महिलाएं ज्यादातर चुप्पी साध लेती हैं. हजार में एक ही हिम्मत दिखाती है और अपने साथ हुई इस हिंसा के बारे में बताती है. उन्हें अपने आने वाले कल, परिवार की बदनामी और शादी न हो पाने का डर सताता है.इसी सोच के चलते रेपिस्टों की हिम्मत बढ़ जाती है और उन्हें लगता है कि उनके कुकर्म का खुलासा नहीं होगा.