विवादों के बीच अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की सफलता और दुनिया भर में योग की एक नई शुरुआत के बाद मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड की नींद खुली है. AIMPLB ने देशभर के सभी मुस्लिम संस्थानों को चिट्ठी लिखकर फरमान जारी किया है. योग को गैर इस्लामिक बताते हुए चिट्ठी में मुसलमानों को योग नहीं करने की सलाह दी गई है.
लॉ बोर्ड के महासचिव मौलाना वली रहमानी की ओर से जारी चिट्ठी में योग के साथ ही मुसलमानों को सूर्य नमस्कार करने से भी मना किया गया है. चिट्ठी में लिखा है, 'सूर्य नमस्कार सूर्य की पूजा करना है. यह वैदिक सभ्यता और ब्रह्म धर्म का हिस्सा है. ऐसे में यह हमारे धार्मिक विश्वास के साथ मेल नहीं खाता.'
'...इसलिए 21 जून को मनाया गया योग दिवस'
रहमानी की चिट्ठी में दावा किया गया है 21 जून को योग दिवस मनाया गया क्योंकि उस दिन RSS के आइकन रह चुके कुशु बाली राम हेगड़े का निधन हुआ था. चिट्ठी में लिखा है, 'संविधान हमें न सिर्फ अपनी इच्छा से धर्म अपनाने की स्वतंत्रता देता है बल्कि धर्मनिरपेक्ष सरकार की भी बात कहता है.'