मुम्बई पुलिस के विवादास्पद एनकाउंटर विशेषज्ञ प्रदीप शर्मा तथा दो कांस्टेबलों समेत पांच अन्य लोगों को गैंगस्टर छोटा राजन गिरोह के एक सदस्य से जुड़े फर्जी मुठभेड़ मामले में गुरुवार को 27 जनवरी तक के लिये न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया.
शर्मा तथा अन्य आरोपियों को पिछले हफ्ते पुलिस की गुजारिश पर पुलिस रिमांड में दिया गया था. किसी भी आरोपी ने जमानत के लिये अर्जी नहीं दी है. वर्ष 1984 के बैच के अधिकारी इंस्पेक्टर शर्मा तथा कांस्टेबल रत्नाकर काम्बले और तानाजी देसाई के अलावा मुखबिर आकिल उर्फ बॉबी, हितेश सोलंकी तथा शैलेन्द्र पाण्डेय को अंधेरी स्थित एक मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश किया गया.
शर्मा तथा अन्य अभियुक्तों को बम्बई उच्च न्यायालय के आदेश पर नियुक्त पुलिस उपायुक्त एम. एम. प्रसन्ना की अगुवाई वाले विशेष जांच दल (एसआईटी) ने गत आठ जनवरी को गिरफ्तार किया था. यह मामला गैंगस्टर छोटा राजन के करीबी सहयोगी डी. के. राव के साथ रामनारायण गुप्ता उर्फ लखन भैया की हत्या से सम्बन्धित है. लखन के अधिवक्ता भाई राम प्रसाद गुप्ता ने बम्बई उच्च न्यायालय में दायर याचिका में अपने भाई की शर्मा की अगुवाई वाली पुलिस टीम द्वारा हत्या किये जाने का आरोप लगाया है.