
Rajiv Gandhi Assassination: भारत के पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के हत्याकांड में दोषी पेरारिवलन को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत दे दी है. पेरारिवलन 30 साल से जेल में बंद है. पेरारिवलन ने सुप्रीम कोर्ट को बताया था कि उसे रिहा करने के तमिलनाडु सरकार के आदेश को राज्यपाल और केंद्र की ओर से मंजूरी नहीं मिल रही है. साथ ही उसकी सजा माफ करने का आवेदन भी बिना फैसले के अटका हुआ है.
21 मई, 1991 को एक चुनाव रैली के दौरान तमिलनाडु में एक आत्मघाती हमले में राजीव गांधी की हत्या कर दी गई थी. इस मामले में पेरारिवलन समेत 7 लोगों को दोषी ठहराया गया था. टाडा अदालत और सुप्रीम कोर्ट ने पेरारिवलन को मौत की सजा सुनाई थी.
बाद में दया याचिका की सुनवाई में हुई देरी की वजह से पेरारिवलन की मौत की सजा को उम्र कैद में बदल दिया गया था. इसके बाद तमिलनाडु सरकार ने उसकी उम्र कैद को भी खत्म कर रिहा करने के लिए रेजोल्यूशन पास किया था. हालांकि, ये प्रस्ताव राज्यपाल और राष्ट्रपति के पास लंबित है.

कोर्ट ने जताई थी नाराजगी
इससे पहले पेरारिवलन की याचिका पर भारत सरकार ने कोर्ट को बताया था कि इस मामले में सजा काट रहे पेरारिवलन को जेल से रिहा करने का अंतिम फैसला राष्ट्रपति ही ले सकते हैं. सरकार द्वारा दिए गए जवाब में कहा गया था कि तमिलनाडु के राज्यपाल ने इस मामले में राष्ट्रपति को अपना जवाब सौंप दिया है. राज्यपाल ने अपने जवाब में कहा है कि किसी भी तरह का फैसला लेने का अधिकार राष्ट्रपति के पास ही है.
अब सुप्रीम कोर्ट ने पेरारिवेलन को जमानत दे दी है. कोर्ट ने कहा कि जेल में रहते हुए उसके आचरण, शैक्षिक योग्यता और बीमारी के आधार पर जमानत दी जा रही है.