केंद्रीय कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली बॉर्डर पर किसानों का प्रदर्शन जारी है. इस बीच सिंधु बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन में एक किसान की मौत हो गई है. जिसको लेकर समाजवादी पार्टी (एसपी) के मुखिया अखिलेश यादव ने ट्वीट किया है. उन्होंने कहा कि दिवंगत किसान की शहादत बेकार नहीं जाएगी. इससे पहले अखिलेश यादव ने किसानों द्वारा बुलाए गए भारत बंद का भी समर्थन किया था. साथ ही केंद्र सरकार से कृषि कानूनों को वापस लेने की बात कही थी.
क्या बोले सपा मुखिया?
किसान आंदोलन में धरने पर बैठे एक किसान की मौत के बाद अखिलेश यादव ने अपने ट्वीट में लिखा, "दिल्ली के सिंधु बार्डर पर, किसान आंदोलन में सोनीपत के बरोदा के रहने वाले 32 वर्षीय गरीब किसान अजय की मृत्यु का समाचार स्तब्धकारी है. भावपूर्ण श्रद्धांजलि! दिवंगत किसान की शहादत बेकार नहीं जाएगी."
धरने पर बैठे किसान की मौत
दरअसल, तीन कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली के अलग-अलग बॉर्डर पर हजारों किसान पिछले 13 दिन से आंदोलन कर रहे हैं. इस बीच सिंधु बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन में एक किसान की मौत हो गई. मृतक किसान का नाम अजय बताया जा रहा है. वह सोनीपत के बरोदा का रहने वाला था और उसकी उम्र 32 वर्ष थी.
खबरों के मुताबिक, अजय के पास एक एकड़ जमीन थी और वह जमीन ठेके पर लेकर खेती का काम करता था. बीते कई दिनों से वह किसान आंदोलन में शामिल था. परिजनों का कहना है कि ठंड के कारण उसकी मौत हुई है.
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सरकार और किसानों के बीच वार्ता बेनतीजा
फिलहाल, कृषि कानूनों को लेकर केंद्र सरकार और किसानों के बीच पांच राउंड की वार्ता हो चुकी है, लेकिन ये वार्ता बेनतीजा ही रही. हालांकि, किसानों और सरकार के बीच कल यानि 9 दिसंबर को फिर से बातचीत होगी. किसानों का कहना है कि अगर बात न बनी तो हमने 6 महीने तक धरना देने की तैयारी की है.
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