'मेरा पानी उतरा देखकर मेरे किनारे घर मत बसा लेना, मैं समंदर हूं लौटकर वापस जरूर आऊंगा..' देवेंद्र फडणवीस ने यह बात 2019 में चुनावी हार और विपक्ष के आरोपों के बीच उद्धव ठाकरे को चेतावनी देते हुए कही थी. जी हां, अब वह वापस लौट आए हैं और बीजेपी ने उन्हें तीसरी बार राज्य की कमान सौंपी है. एक लंबी सियासी उठापटक के बाद बीजेपी विधायक दल की मीटिंग में उनके नाम पर मुहर लगाई गई. आइए देवेंद्र फडणवीस की राजनीतिक यात्रा पर एक नजर डालते हैं.
मौजूदा समय में फडणवीस न सिर्फ महाराष्ट्र के सबसे मजबूत बीजेपी चेहरा हैं बल्कि राज्य की राजनीति में एक अहम धुरी के रूप में अपनी पहचान बना चुके हैं. वह पहली बार 2014 में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री चुने गए थे, और 1972 में वसंतराव नाईक के बाद अपना कार्यकाल पूरा करने वाले पहले मुख्यमंत्री बन गए.
यह भी पढ़ें: New Maharashtra CM: महाराष्ट्र के अगले CM के तौर पर देवेंद्र फडणवीस के नाम पर सहमति, BJP कोर कमेटी से ग्रीन सिग्नल
देवेंद्र फडणवीस ने तब इतिहास रच दिया जब वह राज्य के 59 वर्षों के इतिहास में पहले गैर-कांग्रेसी मुख्यमंत्री बने जिन्होंने पूर्ण कार्यकाल के बाद दोबारा सत्ता हासिल की. देवेंद्र फडणवीस को तभी एक मजबूत नेता मान लिया गया था, जब नितिन गडकरी और एकनाथ खडसे जैसे नेताओं को नजरअंदाज करने के बाद भी उन्हें नेतृत्व के लिए चुना गया.
कौन हैं देवेंद्र फडणवीस?
देवेंद्र गंगाधरराव फडणवीस भारतीय जनता पार्टी के नेता हैं. वह 2014 से 2019 तक महाराष्ट्र के 18वें मुख्यमंत्री रहे और 44 वर्ष की उम्र में राज्य के दूसरे सबसे युवा मुख्यमंत्री बने. फडणवीस का जन्म 22 जुलाई, 1970 को गंगाधरराव और सरिता फडणवीस के घर हुआ. उन्होंने कानून में ग्रेजुएशन किया और 1998 में जर्मनी के डाहलम स्कूल ऑफ एजुकेशन से बिजनेस मैनेजमेंट और प्रोजेक्ट मैनेजमेंट में डिप्लोमा पूरा किया. 2006 में अमृता फडणवीस से शादी हुई और दोनों की एक बेटी है.
आरएसएस से शुरू हुई राजनीतिक यात्रा
2019 में देवेंद्र फडणवीस महाराष्ट्र विधानसभा में विपक्ष के नेता बनाए गए. फडणवीस की राजनीतिक यात्रा राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) से शुरू हुई, और 1990 के दशक में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) में शामिल हुए. 1992 में नागपुर के राम नगर वार्ड से पहला नगर निगम चुनाव जीते और 22 वर्ष की उम्र में सबसे युवा पार्षद बने.
1997 में फडणवीस नागपुर नगर निगम के सबसे युवा मेयर बने और भारत के दूसरे सबसे युवा मेयर भी बने. उन्होंने 1999 से 2004 तक लगातार तीन बार महाराष्ट्र विधानसभा के सदस्य के रूप में काम किया.
2001 में फडणवीस को भारतीय जनता युवा मोर्चा (बीजेवायएम) का राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नियुक्त किया गया. 2010 में भाजपा की महाराष्ट्र इकाई के महासचिव बने और 2013 में राज्य इकाई के अध्यक्ष चुने गए. 2019 में नागपुर दक्षिण पश्चिम विधानसभा सीट से फिर से चुने गए. एनसीपी नेता अजीत पवार के साथ गठबंधन विफल होने के बाद मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया, जब 80 घंटे में अजीत से गठबंधन टूट गया. इसके बाद एकनाथ शिंदे के साथ बीजेपी ने सरकार बनाई, जिसमें अजीत पवार बाद में जुड़े और इस गठबंधन सरकार में वह डिप्टी सीएम के पर पर काम कर रहे थे.