मध्य प्रदेश पुलिस ने भर्ती घोटाले में आरएसएस नेताओं- केएस सुदर्शन और सुरेश सोनी को बेदाग करार दिया है. पुलिस ने बयान जारी करके कहा है कि व्यापम घोटाले से पूर्व संघ प्रमुख सुदर्शन और संघ नेता सुरेश सोनी का कोई लेना-देना नहीं है.
इतना ही नहीं, एमपी पुलिस ने इन दोनों नेताओं के नाम सामने आने पर इस तरह की बात को अफवाह करार दिया है.
सुरेश सोनी ने तो पहले ही कहा था कि व्यापम घोटाले से उनका कोई संबंध नहीं है. अब पुलिस ने भी उन्हें क्लीनचिट दे दी है. सुरेश सोनी ने शनिवार को ही कहा था कि उनके खिलाफ राजनीतिक साजिश की जा रही है.
मध्य प्रदेश पुलिस की चिट्ठी
सोनी ने कहा, 'यह केस छह महीने पहले कोर्ट में फाइल किया गया है. अब इसे नेशनल मीडिया में दिखाया जाना साजिश लगता है. कानून को अपना काम करना चाहिए.'
केस के बहाने उन्होंने मीडिया को भी नसीहत दी, 'इस मामले में मीडिया ट्रायल न करे. सत्य क्या है, ये अदालत में तय हो जाएगा.'
सोनी ने इस मामले में संघ के दिवंगत नेता केएस सुदर्शन का लिए जाने को भी दुर्भाग्यपूर्ण करार दिया था.
संघ प्रमुख मोहन भागवत ने भी शुक्रवार को कहा था कि कानून अपना काम करेगा, उन्हें किसी बात की चिंता नहीं है.
गौरतलब है कि संघ के दो बड़े चेहरों के नाम व्यापम घोटाले में आ रहे थे. व्यापम के पूर्व परीक्षा नियंत्रक पंकज त्रिवेदी ने घोटाले में सनसनीखेज खुलासा किया था. त्रिवेदी के मुताबिक करीब दो हजार करोड़ रुपये के घोटाले में पूर्व सरसंघचालक केएस सुदर्शन और संघ के पदाधिकारी सुरेश सोनी भी शामिल थे.