राम मंदिर भले ही उत्तर प्रदेश के अयोध्या में बनने जा रहा है लेकिन उसे लेकर माहौल मध्य प्रदेश में भी बना हुआ है. मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने ट्वीट करते हुए लिखा है कि 'राजीव गांधी भी अयोध्या में राम मंदिर ही चाहते थे इसलिए जल्द वहां भव्य मंदिर बने.'
हालांकि इसके साथ ही दिग्विजय सिंह ने 5 अगस्त को होने जा रहे भूमि पूजन कार्यक्रम पर भी सवाल खड़े किए हैं. शनिवार को ट्वीट करते हुए दिग्विजय सिंह ने कहा कि 'हमारी आस्था के केंद्र भगवान राम ही हैं! और आज समूचा देश भी राम भरोसे ही चल रहा है. इसलिए हम सबकी आकांक्षा है कि जल्द से जल्द एक भव्य मंदिर अयोध्या राम जन्म भूमि पर बने और राम लला वहां विराजें. राजीव गांधी जी भी यही चाहते थे.'
अपने अगले ट्वीट में दिग्विजय सिंह ने लिखा है, 'रही बात मुहूर्त की, तो इस देश में 90 प्रतिशत से भी ज्यादा हिंदू ऐसे होंगे जो मुहूर्त, ग्रह दशा, ज्योतिष, चौघड़िया आदि धार्मिक विज्ञान को मानते हैं. मैं तटस्थ हूं इस बात पर कि 5 अगस्त को शिलान्यास का कोई मुहूर्त नहीं है ये सीधे-सीधे धार्मिक भावनाओं और मान्यताओं से खिलवाड़ है.'
रही बात मुहूर्त की, तो इस देश में 90 प्रतिशत से भी ज्यादा हिन्दू ऐसे होंगे जो मुहूर्त, ग्रह दशा, ज्योतिष, चौघड़िया आदि धार्मिक विज्ञान को मानते हैं। मैं तटस्थ हूँ इस बात पर कि 5 अगस्त को शिलान्यास का कोई मुहूर्त नही है ये सीधे-सीधे धार्मिक भावनाओं और मान्यताओं से खिलवाड़ है।
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 1, 2020
बीजेपी का पलटवार-
दिग्विजय सिंह के ट्वीट पर गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने पलटवार किया है. भोपाल में पत्रकारों से बात करते हुए गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि 'दिग्विजय जी, जब भी बोलते हैं उल्टा ही बोलते हैं. लेकिन खुशी इस बात की है कि कांग्रेस ने कम से कम श्री राम का नाम तो लिया. हालांकि कांग्रेस के कारण ही राम मंदिर का निर्माण लेट हुआ है.'