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भारतीय वायुसेना की बढ़ेगी ताकत, GP बम की पहली खेप मिली, जानिए खासियत

जबलपुर स्थित ऑर्डिनेंस फैक्ट्री खमरिया ने वायुसेना के लिए खतरनाक बम बनाए गए थे. जिन्हें अब वायुसेना को सौंप दिया गया है. ये बम ना केवल भारतीय वायुसेना की ताकत बढ़ाएंगे बल्कि दुश्मनों के लिए काल बनेंगे. इस बम की लंबाई 1.9 मीटर और वजन 500 किलोग्राम है. इस बम को जगुआर और सुखोई SU-30 MKI से गिराया जा सकता है.

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खमरिया ऑर्डिनेंस फैक्ट्री ने 500 किलो के GP बम बनाए.
खमरिया ऑर्डिनेंस फैक्ट्री ने 500 किलो के GP बम बनाए.
स्टोरी हाइलाइट्स
  • खमरिया ऑर्डिनेंस फैक्ट्री ने 500 किलो के GP बम बनाए
  • भारतीय वायुसेना की ताकत बढ़ी

मध्यप्रदेश के जबलपुर स्थित ऑर्डिनेंस फैक्ट्री खमरिया ने एक नई उपलब्धि हासिल की है. ऑर्डिनेंस फैक्ट्री खमरिया ने दुश्मनों के छक्के छुड़ाने वाले 500 किलो के जीपी बम वायुसेना को हैंडओवर किए हैं. इस बम के आने से वायुसेना की ताकत दोगुनी हो जाएगी.

DGAQA के कमांडिंग ऑफिसर और आयुध निर्माण के अधिकारियों की मौजूदगी में 500 किलो जीपी बम की पहली खेप रवाना कर दी गई है. इस बेहद घातक GP बम में 21000 स्टील बॉल मौजूद हैं. जो किसी भी दुश्मन के छक्के छुड़ाने में बेहद कारगर है.  इस बम की खासियत की बात करें तो इससे वायु सेना का फायर पावर बहुत ज्यादा बढ़ गया है.

फैक्ट्री सूत्रों के मुताबिक, इसकी लंबाई 1.9 मीटर और वजन 500 किलोग्राम है. इस बम को जगुआर और सुखोई SU-30 MKI से गिराया जा सकता है. इस बम का निर्माण जबलपुर की आयुध निर्माणी फैक्ट्री के एफ-6 सेक्शन में किया गया है. 500 केजी एयरड्रॉप बम के माध्यम से दुश्मन के ब्रिज बंकर रनवे और ट्रैक जैसी बड़ी अधोसंरचना को आसानी से निशाना बनाया जा सकेगा. यह वायु सेना के लिए एडवांस बम है जो कई तरह की नई तकनीकों से लैस है.

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500 किलो के जीपी बम की खासियत
हमला करने वाले स्थान पर 100 मीटर की दायरे में आने वाला कोई भी दुश्मन या हथियार इसके सामने नहीं टिक सकता. नई तकनीक से लैस है ये GP बम. एक बम में 15 मिमी के 21000 गोले स्टील के रहेंगे. विस्फोट के बाद हर गोला 50 -100 मीटर तक टारगेट करेगा. एक गोला 12 एमएम स्टील प्लेट को भेद सकेगा.

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