दिल्ली से सटे हरियाणा के फरीदाबाद के एनआईटी-2 में रहने वाले एक बुजुर्ग दंपति को साइबर अपराधियों ने डिजिटल अरेस्ट कर 30 लाख रुपये का चूना लगा दिया. जालसाजों ने खुद को मुंबई क्राइम ब्रांच का अधिकारी बताकर पहले फोन कॉल और फिर वीडियो कॉल के ज़रिए महिला को 'डिजिटल अरेस्ट' में लेने की धमकी दी. दहशत में आई महिला और उसके पति ने तीन दिन तक डर के साये में जीते हुए कुल 30.20 लाख रुपये जालसाजों के बताए बैंक खातों में ट्रांसफर कर दिए.
पीड़ित महिला सुषमा भाटिया ने शिकायत में बताया कि 16 जून को उन्हें एक अनजान नंबर से कॉल आया. कॉल करने वाले ने खुद को सीआईडी इंस्पेक्टर बताया और कहा, 'आपको गिरफ्तार कर लिया गया है'. इसके बाद कॉल कट गया. कुछ देर बाद एक वीडियो कॉल आया, जिसमें एक व्यक्ति पुलिस यूनिफॉर्म में नजर आया. उसने कहा कि महिला 'जेट एयरवेज़ मनी लॉन्ड्रिंग केस' में आरोपी है और अब वह 'हाउस अरेस्ट' में है.
जालसाजों के मुताबिक उनके खिलाफ डिजिटल गिरफ्तारी आदेश भी जारी किए जाएंगे. डर के मारे दंपति ने अपनी एफडी तोड़ी और तीन दिन के अंदर कई किस्तों में 30 लाख से अधिक की राशि ट्रांसफर कर दी.
इस दौरान महिला किसी तरह से बाथरूम जाने का बहाना बनाकर एनआईटी थाना पहुंचीं और पूरी घटना बताई. पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए आईटी एक्ट और भारतीय न्याय संहिता (BNS) की संबंधित धाराओं में मामला दर्ज कर लिया है. फरीदाबाद पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि मामले की जांच जारी है और जल्द ही आरोपियों की गिरफ्तारी की जाएगी.