घरेलू हिंसा मामले में दिल्ली के पूर्व कानून मंत्री सोमनाथ भारती को सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा झटका दिया है. कोर्ट में सुनवाई के दौरान सोमनाथ की पत्नी लिपिका मित्रा ने मध्यस्थता से इनकार कर दिया है, जिसके बाद कोर्ट ने उनकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया. ऐसे हालत में अब AAP विधायक को जमानत के लिए ट्रायल कोर्ट जाना होगा.
सोमवार को कोर्ट में सुनवाई के दौरान भारत के मुख्य न्यायाधीश एचएल दत्तु ने लिपिका से मामले में मध्यस्ता की बात पूछी तो उन्होंने इसे खारिज कर दिया. लिपिका ने कहा कि यह संभव नहीं है और वह इस ओर कदम नहीं बढ़ाना चाहतीं. कोर्ट ने कहा, 'क्योंकि लिपिका खुद मध्यस्थता नहीं करना चाहतीं, इसलिए उनके ऊपर इस ओर कोई दबाव नहीं बनाया जा सकता.'
कोर्ट ने सोमनाथ भारती के वकील की ओर से जमानत याचिका पर सुनवाई से इनकार करते हुए कहा, 'आपने अग्रिम जमानत की याचिका दी थी, लेकिन आपके सरेंडर के बाद अब इसका कोई औचित्य नहीं बनता. ऐसे में आप ट्रायल कोर्ट में नए सिरे से जमानत की अर्जी दें. सुप्रीम कोर्ट इस ओर अब कुछ नहीं कर सकता.'
हालांकि कोर्ट ने बाद में यह भी कहा कि आम तौर पर अदालत इस ओर कुछ नहीं करती, लेकिन आपके मामले में यह अदालत ट्रायल कोर्ट से जमानत अर्जी पर जल्द से जल्द फैसला सुनाने का निर्देश देती है.