दिल्ली सबसे बड़े अस्पताल सफदरजंग के डॉक्टरों की नींद उड़ गई है. और ये नींद उड़ाई है एक चोर ने जो अस्पताल के रेसीडेंट डॉक्टर के पर्स को हॉस्टल से चुरा लेता है. फिर उनके क्रेडिट कार्ड से जेवरातों की खरीदारी करता. और जब तक डॉक्टरों को चोरी का पता चलता है तब तक चोर फरार हो जाता है.
सात जून को सफदरजंग रेसीडेंट डॉक्टर के हॉस्टल के कमरा नंबर 37 में रहने वाले डॉक्टर का पर्स गायब हो गया. उन्हें अपनी चोरी का पता नहीं था लेकिन जैसे ही उनके मोबाइल पर क्रेडिट कार्ड से शॉपिंग के मैसेज़ आये तब उनकी नींद टूटी. तब तक चोर उनके कार्ड से लाजपत नगर की एक मशहूर दुकान से तीस हज़ार के जेवरात खरीद फरार हो चुका था. डॉक्टर ने खुद जाकर चोर की सीसीटीवी फुटेज़ दुकान से निकलवाई.
हॉस्टल में चोर की तस्वीर देखी तो उसके कारनामे की फेहरिस्त खुल गई और कई शिकार डॉक्टर सामने आ गये. 30 नवंबर 2012 को भी ऐसी ही डॉक्टर की कहानी सामने आई. एम्स के डॉक्टर का मामला भी ऐसा ही था. चोरी का तरीका एक था, चोर भी एक था, लेकिन डॉक्टर अलग अलग थे और चोरी का सिलसिला पुराना था.
सफदरजंग अस्पताल में चप्पे चप्पे पर गार्ड तैनात है. जगह जगह सीसीटीवी कैमरा लगा है लेकिन चोर इतना शातिर है कि पिछले तीन साल से चोरी की वारदात को अंजाम दे रहा है. हर बार की तरह डॉक्टरों ने इस बाक भी पुलिस थाने में मामले की शिकायत की लेकिन पुलिस के कान पर जूं तक नहीं रेंगी.