दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच की साइबर सेल ने एक बड़े साइबर फ्रॉड और सेक्सटॉर्शन रैकेट का पर्दाफाश किया है, जो राजस्थान, दिल्ली और उत्तर प्रदेश में फैला हुआ था. पुलिस ने इस गिरोह के 6 लोगों को गिरफ्तार किया है और 9 लोगों को नोटिस देकर पाबंद किया गया है. इस नेटवर्क में बैंकिंग फ्रॉड, फर्जी लोन कॉल सेंटर और सेक्सटॉर्शन जैसे कई अपराधों को अंजाम दिया जा रहा था.
फर्जी बैंक अकाउंट किट्स का इस्तेमाल
24 मई 2025 को नई दिल्ली के न्यू अशोक नगर इलाके में पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि एक गिरोह फर्जी बैंक अकाउंट किट्स का इस्तेमाल कर रहा है. कार्रवाई के दौरान उज्जवल पांडे, गौरव बरुआ और युग शर्मा को गिरफ्तार किया गया, जिनके पास से 28 मोबाइल, 30 सिम, 2 लैपटॉप, 8 चेकबुक, 15 डेबिट कार्ड और कई फर्जी दस्तावेज मिले.
व्हाट्सऐप पर लोन का ऑफर
इन किट्स का इस्तेमाल साइबर ठगी में किया जाता था. आरोपी पीड़ितों को व्हाट्सऐप पर लुभावने लोन ऑफर देते थे और उनसे आधार-पैन जैसे दस्तावेज मंगवाते थे. फिर प्रोसेसिंग फीस के नाम पर QR कोड भेज कर पैसे ठगते थे. पैसे मिलने के बाद उनका नंबर बंद कर दिया जाता था.
आपत्तिजनक वीडियो बनाते थे
सेक्सटॉर्शन मामले में भी पुलिस ने एक और गिरोह का भंडाफोड़ किया, जिसमें आरोपी फेसबुक और व्हाट्सऐप के जरिए वीडियो कॉल कर पीड़ितों के आपत्तिजनक वीडियो बनाते थे और फिर उन्हें वायरल करने की धमकी देकर पैसे वसूलते थे.
मुख्य आरोपी दिलशाद अली पहले भी साइबर फ्रॉड के केस में पकड़ा जा चुका है. इसके अलावा इस गिरोह में कई युवा लड़के-लड़कियां शामिल थे, जो कॉल सेंटर में काम करते थे. आरोपी जयश्री, जाहिद, सोहिल, जयवीर और अन्य ने मिलकर इस संगठित रैकेट को चला रखा था.
पुलिस ने अब तक 5 करोड़ रुपये से ज्यादा की मनी ट्रेल ट्रैक की है और जांच अभी जारी है. आने वाले दिनों में और गिरफ्तारियां हो सकती हैं.