
Valentine's Day Today 14 Feb Google Doodle: वैलेंटाइन डे दुनियाभर में इतना लोकप्रिय हो गया है कि ये दिन अब किसी पहचान का मोहताज नहीं है. फरवरी के दूसरे हफ्ते को प्यार का वीक कहा जाता है. 14 फरवरी इस हफ्ते का आखिरी दिन है. इस दिन की शुरुआत को लेकर दुनियाभर में अलग-अलग मान्यताएं हैं. इन्हीं में से एक का जिक्र सर्च इंजन गूगल ने डूडल बनाकर किया और यूरोप में वैलेंटाइन डे की शुरुआत के बारे में बताया है.
आज 14 फरवरी यानी वैलेंटाइन डे है. इस दिन दुनियाभर के लोग अपने प्रेमियों, दोस्तों और पार्टनर के लिए गिफ्ट और खास मैसेज के माध्यम से अपना प्यार व्यक्त करते हैं. इस मौके पर सर्च इंजन गूगल ने डूडल के जरिए बताया कि वैलेंटाइन डे की शुरुआत किस तरह हुई. डूडल के मुताबिक, मध्य युग के दौरान, इंग्लैंड और फ्रांस जैसे यूरोपीय देशों का मानना था कि 14 फरवरी पक्षियों के लिए संभोग के मौसम की शुरुआत थी. इसी को प्यार से जोड़ा गया और इस दिन को रोमांस के त्योहार के रूप में मनाया जाने लगा.

फिर 17वीं शताब्दी में आते-आते ये पूरी दुनिया में अधिक लोकप्रिय हो गया. इसके साथ ही गूगल ने प्यार का जश्न मनाने वालों को इस दिन की बधाई दी और आशा जताई कि इस दिन आप अपने किसी खास के साथ जश्न मनाएं और आनंद लें.
बता दें कि वैलेंटाइन डे की शुरुआत को लेकर दुनियाभर में कई अलग-अलग मान्यताएं हैं.'ऑरिया ऑफ जैकोबस डी वॉराजिन' नाम की पुस्तक में वैलेंटाइन का जिक्र है. यह डे रोम के एक पादरी संत वैलेंटाइन के नाम पर मनाया जाता है. बताया जाता है कि संत वैलेंटाइन दुनिया में प्यार को बढ़ावा देने में विश्वास रखते थे, लेकिन रोम के सम्राट क्लाउडियस को ये बात पंसद नहीं थी और वह प्रेम विवाह के खिलाफ थे. उन्होंनें रोम में शादी और सगाई पर पाबंदी लगा दी. पादरी वैलेंटाइन ने सम्राट के आदेश को लोगों के साथ नाइंसाफी के तौर पर महसूस किया. उन्होंने इसका विरोध करते हुए कई अधिकारियों और सैनिकों की शादियां भी कराई. इसके बाद उन्हें 14 फरवरी को फांसी पर चढ़ा दिया गया.
ये भी माना जाता है कि वैलेंटाइंस डे की शुरुआत प्राचीन रोम में हुई थी, जब 13 फरवरी से 15 फरवरी तक लुपर्केलिया का पर्व मनाया जाता था. इन दिनों पुरुषों द्वारा एक बकरी और एक कुत्ते की बलि दी जाती थी और फिर महिलाओं को इन बलि किए गए जानवरों की खाल से पीटा जाता था. ऐसा माना जाता था कि इससे महिलाओं की जनन क्षमता बेहतर होती है.
इस महोत्सव के दौरान मैच-मेकिंग लॉटरी भी निकाली जाती थी. पुरुष एक जार से महिलाओं के नाम निकालते थे और जिसका नाम जार से निकलता था उस महिला के साथ कपल बन जाते थे. लुपर्केलिया का पर्व तीसरी शताब्दी ईस्वी में वैलेंटाइन डे के रूप में बदल गया.