प्रतापगढ़ के कुंडा में हुए सुरेश यादव मर्डर केस में यूपी के कैबिनेट मंत्री रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया की मुश्किलें बढ़ गई हैं. सीबीआई कोर्ट ने अंतिम रिपोर्ट खारिज करते हुए राजा भैया और अक्षय प्रताप सिंह सहित सभी आरोपियों को तीन अक्टूबर को तलब किया है.
जानकारी के मुताबिक, सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने राजा भैया, अक्षय प्रताप सिंह उर्फ गोपाल जी, तत्कालीन एसओ हथिगंवा मनोज कुमार शुक्ला, तत्कालीन प्रभारी निरीक्षक सर्वेश कुमार मिश्रा, गनर इमरान सिद्दीकी को मर्डर की साजिश रचने, हत्या करने, सबूत मिटाने का दोषी मानते हुए समन जारी किया है.
जस्टिस मनोज कुमार ने इस मामले में राजीव प्रताप सिंह, गुड्डू सिंह उर्फ संजय प्रताप सिंह, संजीव कुमार सिंह, जिवेंद्र पाल, नन्हे सिंह, कामता पाल, अजय पाल, विजय पाल, मुन्ना पाल और बुल्ले पाल को भी IPC की इन्हीं गभीर धाराओं 120बी, 302, 147, 148, 149 और 201 में समन जारी किया है.
कोर्ट ने माना कि कि सुरेश यादव का मर्डर रघुराज प्रताप सिंह, अक्षय प्रताप सिंह, जिवेंद्र पाल, संजीव, गुड्डू और राजीव के द्वारा साजिश के तहत अन्य मुल्जिमों से कराया गया, यह प्रथम दृष्टया साबित हो रहा है. लिहाजा इन सभी को तलब किया जाना सही है.
बताते चलें कि 2 मार्च, 2013 में प्रतापगढ़ के कुंडा में प्रधान नन्हें यादव और उसके भाई सुरेश यादव का मर्डर कर दिया गया था. इससे गुस्साए ग्रामीणों ने डिप्टी एसपी जियाउल हक को मार डाला था. इसका आरोप यूपी कद्दावर नेता राजा भैया पर लगा, जिसकी जांच CBI कर रही है.