पाकिस्तान में तबलीगी जमात से बड़ा संकट खड़ा हो गया है. पिछले महीने लाहौर में तबलीगी जमात के मरकज में लोगों की मौजूदगी ने सरकार को परेशानी में डाल दिया है. इसमें शामिल होने वाले करीब 41 हजार लोगों को ट्रैक करने की कोशिश की जा रही है, जो देशभर में इधर-उधर हैं.
रायविंड के तबलीगी जमात के मरकज में मौजूद रहे कई लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव पाई गई है. इसके बाद से देशभर में हड़कंप मचा हुआ है और मरकज में शामिल हुए लोगों की स्क्रीनिंग और जांच के लिए तलाश की जा रही है.
नेशनल कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (NCCC) से जुड़े एक वरिष्ठ अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, 'अकेले लाहौर स्थित तबलीगी जमात के मरकज में शामिल हुए 41 लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है. उन्होंने आशंका जताई कि करीब 10 हजार लोग 60 शहरों में संक्रमित हो सकते हैं.'
70 फीसदी लोग घर लौटे
पाकिस्तानी मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, मरकज में मौजूद रहे लोगों की तलाश के लिए 5200 टीमें बनाई गई हैं. हर टीम में 8 सदस्य शामिल हैं, जो कोरोना संदिग्धों की तलाश में जुटे हैं. इस कार्यक्रम में भाग लेने वाले करीब 4500 लोग 26 अलग-अलग देशों के थे. इनमें से 70% लोग पहले ही अपने घर लौट चुके हैं.
सामाजिक सभाएं करते रहे सदस्य
एक अधिकारी ने बताया कि कोरोना महामारी के मद्देनजर पंजाब सरकार की चेतावनी के बाद बावजूद 10 से 15 मार्च को कार्यक्रम आयोजित होना था. हालांकि पाबंदी से पहले दो दिन के लिए जमात के सदस्य रायविंड में एकत्रित हुए थे. लाहौर में 5 दिवसीय कार्यक्रम रद्द होने के बाद भी जमात के सदस्य देश भर में सामाजिक सभाएं करते रहे.
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सिंध प्रांत में मरकज से लौटे करीब 221 लोगों की जांच में 94 कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं. राज्य में करीब 453 विदेशियों को आइसलेशन में रखा गया है. चीन, इंडोनेशिया, ट्यूनिस, नाइजीरिया, अफगानिस्तान, तुर्की और अन्य देशों से मरकज में पहुंचे लोगों को सुक्कुर और हैदराबाद में मस्जिदों में क्वारंटाइन किया जा रहा है. इसके अलावा करीब 8 हजार जमात अनुयायियों को क्वारंटाइन किया गया है.
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इधर, जमात के एक नेता नईम बट ने कहा कि ये यह सच नहीं है कि हमारे अनुयायी देश में वायरस फैलने का मुख्य कारण हैं. हम सरकार के कारण का समर्थन करते हैं.