कोरोना के खिलाफ जारी जंग में वैक्सीनेशन को बढ़ावा देने के लिए भारत सरकार ने सोमवार को नई नीति का ऐलान किया. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्र के नाम संबोधन में कहा कि अब वैक्सीनेशन का काम केंद्र सरकार करेगी, 18 साल से अधिक उम्र वाले लोगों को मुफ्त में टीका लगाया जाएगा. सरकार पहले ही कह चुकी है कि दिसंबर 2021 तक वैक्सीनेशन को पूरा करने का लक्ष्य है, ऐसे में अगले 6 महीने में जरूरत के हिसाब से वैक्सीन कहां से आएंगी, इस सवाल का जवाब जानिए...
देश में 16 जनवरी को वैक्सीनेशन का काम शुरू हुआ था, शुरुआत में हेल्थवर्कर्स को वैक्सीनेट किया गया. उसके बाद फ्रंटलाइन वर्कर्स, बुजुर्ग, फिर 45 प्लस और अब 18 प्लस को टीका लगाया जा रहा है. देश में करीब 94 करोड़ ऐसे लोग हैं, जिनकी उम्र 18 प्लस है और जो वैक्सीनेशन की श्रेणी में आते हैं. इनके लिए लगभग 187-188 करोड़ वैक्सीन की ज़रूरत होगी.
कैसे पूरा होगा वैक्सीनेशन का टारगेट?
सूत्रों की मानें, तो भारत सरकार को जुलाई, 2021 तक कुल 53.60 करोड़ वैक्सीन की डोज़ उपलब्ध होंगी. इनमें वो वैक्सीन भी शामिल हैं, जो अभी तक दी जा चुकी हैं. सिर्फ जून महीने में ही 12 करोड़ डोज़ मिलनी हैं, जबकि जुलाई में 16 करोड़ डोज़ मिलेंगी. यानी 31 जुलाई तक कुल 53.60 करोड़ वैक्सीन की डोज़ होंगी.
अगस्त से रफ्तार पकड़ेगा वैक्सीनेशन मिशन
जुलाई के बाद एक अगस्त से देश में वैक्सीनेशन की रफ्तार बढ़ सकती है, ताकि 31 दिसंबर 2021 तक मिशन को पूरा किया जाए. सरकार के मुताबिक, अगस्त से दिसंबर के बीच ही 130 करोड़ से अधिक वैक्सीन की डोज़ मिल सकती हैं. ये वैक्सीन अलग-अलग कंपनियों से इस वक्त में मिलेंगी.
• सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया – 50 करोड़
• भारत बायोटेक – 38 करोड़
• बायो-ई – 30 करोड़
• कैडिला – 5 करोड़
• स्पुतनिक-वी – 10 करोड़
इन सभी वैक्सीन को मिलाकर कुल 133 करोड़ वैक्सीन की डोज़ होंगी, जो अगस्त से दिसंबर के बीच में मिलेंगी. अभी इनमें विदेशी वैक्सीन को शामिल नहीं किया गया है, भारत सरकार फाइजर-मॉडर्ना जैसी कंपनियों से भी चर्चा कर रही है. ऐसे में सरकार की पूरी कोशिश है कि वैक्सीनेशन को रफ्तार दी जाए, एक दिन में करीब 90 लाख डोज़ लगाई जाए ताकि मिशन को पूरा किया जाए.