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प्रशांत किशोर को अब मिली बिना शर्त के जमानत, जेल से आए बाहर

बीपीएससी की प्रारंभिक परीक्षा को रद्द किए जाने की मांग को लेकर आमरण अनशन पर बैठे जन सुराज के संस्थापक प्रशांत किशोर को अब बिना शर्त जमानत मिल गई है. पीके इसके बाद जेल से बाहर आ गए हैं. इससे पहले भी कोर्ट से उन्हें कुछ शर्तों के साथ जमानत मिली थी जिसे उन्होंने अस्वीकार कर दिया था. इसके बाद उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था. आज सुबह पटना पुलिस ने उन्हें धरना स्थल गांधी मैदान से गिरफ्तार किया था.

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प्रशांत किशोर को मिली जमानत
प्रशांत किशोर को मिली जमानत

बीपीएससी की प्रारंभिक परीक्षा को रद्द किए जाने की मांग को लेकर आमरण अनशन पर बैठे जन सुराज के संस्थापक प्रशांत किशोर को अब कोर्ट ने बिना किसी शर्त के जमानत दे दी है जिसके बाद वो जेल सभी बाहर आ गए हैं.

बता दें कि इससे पहले भी कोर्ट ने प्रशांत किशोर को बेल बॉन्ड में कुछ शर्तों के साथ जमानत दे दी थी लेकिन उन्होंने उन शर्तों को मानने से इनकार कर दिया था और जेल जाने का रास्ता चुना था. प्रशांत किशोर की तरफ से कोर्ट में मुख्य सीनियर वकील वाईबी गिरी केस लड़ रहे हैं. 

उन्होंने बताया था कि प्रशांत किशोर को शर्तों पर जमानत दी जा रही थी कि वो अब कोई धरना प्रदर्शन नहीं करेंगे जिसे मानने से उन्होंने इनकार कर दिया जिसके बाद प्रशांत किशोर को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था.

क्या थी पहले जमानत की शर्त

प्रशांत किशोर को पहले इस शर्त पर जमानत दी गई थी कि वह भविष्य में किसी तरह का कोई धरना प्रदर्शन या सरकार के खिलाफ कोई प्रोटेस्ट नहीं करेंगे या विधि व्यवस्था की समस्या पैदा नहीं करेंगे. प्रशांत किशोर जमानत के इन शर्तों को मानने के लिए तैयार नहीं हुए. 

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जेल जाने से पहले क्या बोले थे PK

इसके बाद उन्होंने जेल जाने का रास्ता चुनते हुए कहा था, 'रुकना नहीं है, अगर रुकेंगे तो इनका (सरकार) का मन बढ़ जाएगा इसलिए बेल भी नहीं लेंगे और अनशन भी नहीं तोड़ेंगे. प्रशासन को जो करना है करने दीजिए, ये लोग (प्रशासन) सोच रहे थे कि उठाकर यहां लाएंगे, बेल दिला देंगे और बात खत्म हो जाएगी.'

PK को बेल मिलने पर क्या बोले उनके वकील

प्रशांत किशोर के जेल से बाहर आने के बाद उनके वकील कुमार अमित ने आज तक से खास बातचीत की जिसमें उन्होंने बताया कि प्रशांत किशोर के ऊपर जिन धाराओं में किस दर्ज किए गए थे उसमें उन्हें बेल मिल जानी चाहिए थी.

उन्होंने कहा, 'कोर्ट से भी मामले को समझने में चूक हुई इसलिए पहले कंडीशनल बेल की बात की गई थी. प्रशांत किशोर को लेकर जब पुलिस वहां से निकली तो बिल्कुल अफरातफरी का माहौल था. बाद में हमने कोर्ट के अंदर फिर से पक्ष रखा और यह कहा कि इस मामले में कंडीशनल बेल की आवश्यकता नहीं है.

वकील कुमार अमित ने कहा, 'कोर्ट ने हमारी बातों को माना और सामान्य प्रक्रिया के तहत जो बेल बॉन्ड भरा जाता है उसके बाद प्रशांत किशोर को जमानत मिल गई.

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प्रशांत किशोर कब हुए थे गिरफ्तार

सोमवार तड़के चार बजे पुलिस टीम उन्हें गांधी मैदान से उठाकर एंबुलेंस से एम्स ले गई थी. इस बीच पटना पुलिस ने धरनास्थल को खाली करा लिया. पुलिस ने जिस वक्त ये कार्रवाई की उस समय पीके अपने समर्थकों के साथ धरना स्थल पर सो रहे थे.


 

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