
30 नवंबर 1946 में सर्बिया के बेलग्रेड (Belgrade, Serbia) जन्मी मरीना अब्रामोविक (Marina Abramovic) का बचपन काफी मुश्किलों भरा रहा. क्योंकि उनके माता-पिता की आपस में बिल्कुल भी नहीं बनती थी. मरीना की मां का व्यवहार उनके साथ भी अच्छा नहीं था. वह अक्सर उनसे मारपीट करतीं और टॉर्चर देतीं. जिसके कारण मरीना के दिमाग में इसका काफी गहरा असर हुआ.
जैसे-तैसे मरीना का बचपन बीता. फिर उन्होंने बड़े होकर फाइन आर्ट्स की ट्रेनिंग ली. जिसके बाद वह स्टेज पर परफॉर्म करने लगीं. वह अक्सर ऐसी परफॉर्मेंस देतीं जिसमें उन्हें दर्शकों के सामने बिना किसी एक्सप्रेशन के घंटों तक खड़ा होना पड़ता. न चेहरे पर हंसी और न रोना. बस आंखों में एक दर्द दिखाकर वह लोगों के सामने अपनी परफॉर्मेंस देतीं. लेकिन 1974 में एक दिन मरीना ने सोचा कि क्यों न कुछ हटकर फरफॉर्म किया जाए. और इसी परफॉर्मेंस ने उन्हें पूरी दुनिया में मशहूर भी कर दिया. क्योंकि इस परफॉर्मेंस से उन्होंने लोगों के अंदर छिपे जानवर को सबके सामने लाकर पेश किया.

The Guardian के मुताबिक, इसके लिए उन्होंने इटली शहर को चुना. साथ ही इस परफॉर्मेंस को उन्होंने नाम दिया 'Rhythm 0'. रिदम 0 में मरीना को 6 घंटे बुत बनकर सबके सामने खड़ा रहना था. इन 6 घंटों में उन्होंने लोगों को खुद के साथ कुछ भी करने की छूट दी थी. लेकिन लोगों ने इस दौरान उनके साथ दरिंदगी की हदें पार कर दीं. मरीना के हाथ में एक बोर्ड था जिसमें लिखा था 'आप मेरे साथ 6 घंटों तक कुछ भी कर सकते हो'. उसने सामने एक टेबल पर 72 चीजें रखीं थी. लोग उन 72 चीजों में से किसी भी चीज का उस पर इस्तेमाल कर सकते थे. वो उन चीजों से जो चाहे मरीना के साथ कर सकते थे. इन चीजों में चाकू, पिस्टल, ब्लेड और चेन जैसी चीजें शामिल थीं. इस परफॉर्मेंस की टाइमिंग थी रात 8 बजे से लेकर सुबह 2 बजे तक.

मरीना को जोर-जोर से पटका गया
फॉर्मेंस से पहले मरीना ने खुद ही लोगों को निर्देश दिया कि मैं एक चीज हूं, मुझे इंसान मत समझना. जो करना होगा वो मेरे साथ करना. फिर शुरू हुई मरीना की परफॉर्मेंस. उस दौरान वहां बहुत से लोग मौजूद थे और काफी सारे फोटोग्राफर भी. सबसे पहले लोगों ने उनके आस-पास घूमना शुरू किया. वो सोच रहे थे कि मरीना के साथ क्या किया जाए. फिर वहां कुछ लड़कियां आईं. उन्होंने मरीना को जोर-जोर से पटकना शुरू किया. फिर बाकी लोग उस टेबल की ओर बढ़े जहां टॉर्चर करने का सारा सामान मौजूद था.

6 घंटे तक लोग देते रहे टॉर्चर
कुछ लोगों ने उन्हें कुर्सी से बांध दिया. फिर वहां मौजूद एक शख्स ने मरीना की गर्दन पर ब्लेड मारा. एक ने तो मरीना को लोडेड पिस्टल पकड़ाकर कहा कि खुद को शूट कर लो. फिर एक शख्स ने तो मरीना के कपड़े तक फाड़ डाले. किसी ने उसने शरीर पर अभद्र बातें लिखीं तो किसी ने अश्लील चीजें बांध दीं. किसी ने ठंडा पानी उनपर फेंक दिया. कुछ लोग उनके मुंह पर थूकने भी लगे. इतना सब होने के बाद भी लोगों का मन नहीं भरा तो उन्होंने मरीना के शरीर पर कांटे तक चुभा दिये. वहीं, कई लोग उसे गालियां देते हुए फोटो खींचने लगे.
मरीना से नजरें नहीं मिला पा रहे थे लोग
6 घंटे के टॉर्चर के बाद जब मरीना की परफॉर्मेंस खत्म हुई तो उन्होंने चलना शुरू किया. वह एक-एक शख्स के पास जाने लगीं और उनके चेहरों को गौर से देखने लगी. हैरत की बात यह रही कि जो लोग उसे टॉर्चर दे रहे थे, वही लोग अब मरीना से नजरें तक नहीं मिला पा रहे थे. दरअसल, मरीना ने अपनी इस परफॉर्मेंस से लोगों को उनके अंदर छिपा एक हैवान दिखाया था. मरीना ने लोगों को यह संदेश दिया था कि जब कोई इंसान लाचार होता है तो लोग उसे परेशान करने का कोई भी मौका नहीं छोड़ते. अगर कोई इंसान अपना बचाव नहीं कर पाता है तो लोग उसे एक वस्तु समझने लगते हैं और उसके साथ मनमर्जी का सुलूक करते हैं. ये सभी इंसान ही थे जिन्होंने मरीना के साथ इतना बुरा सुलूक किया.

'ऐसा लगा जैसे रेप हुआ हो'
मरीना ने एक इंटरव्यू में इस परफॉर्मेंस को लेकर कहा कि उस दौरान उन्हें लग रहा था मानो उनका रेप हुआ हो. उनके साथ जो हुआ वो लोगों की खराब मानसिकता को दिखाता है. यह दिखाता है कि लोग कभी भी किसी को भी परेशान करने और दुख पहुंचाने के लिए तैयार रहते हैं. मरीना ने कहा कि वो 6 घंटे उनके लिए जीवन से सबसे बदतर घंटे थे, जिसे वो कभी भी दोबारा नहीं जीना चाहती हैं.