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मुस्लिम की तरह बर्ताव करने पर पाक डॉक्टर गिरफ्तार

पाकिस्तान के अल्पसंख्यक अहमदी समुदाय के एक डॉक्टर को कथित रूप से मुस्लिम की तरह बर्ताव करने के आरोप में देश के कठोर ईशनिंदा कानून के तहत गिरफ्तार किया गया है. डॉक्टर के इस बर्ताव की शिकायत उसके मरीजों ने की थी.

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पाकिस्तान का राष्ट्र ध्वज
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पाकिस्तान के अल्पसंख्यक अहमदी समुदाय के एक डॉक्टर को कथित रूप से मुस्लिम की तरह बर्ताव करने के आरोप में देश के कठोर ईशनिंदा कानून के तहत गिरफ्तार किया गया है. डॉक्टर के इस बर्ताव की शिकायत उसके मरीजों ने की थी. लाहौर में एक अतिरिक्त जिला और सत्रीय न्यायाधीश ने 72 वर्षीय ब्रितानी-पाकिस्तानी डॉक्टर मसूद अहमद की गिरफ्तारी के बाद की जमानत अर्जी खारिज कर दी. डॉक्टर को अहमदी मूल्यों की शिक्षा देने और अपमानजनक कथनों वाली किताबें वितरित करने के आरोप में पिछले माह गिरफ्तार किया गया था.

जमात अहमदिया पाकिस्तान के प्रवक्ता ने कहा कि डॉक्टर को उस समय गिरफ्तार किया गया, जब उसके मरीज बनकर गए दो लोगों ने चोरी-छिपे मोबाइल में उसे कुरान पढ़ते हुए रिकॉर्ड कर लिया था. डॉक्टर 1982 में एक फार्मेसी खोलने के लिए ब्रिटेन से पाकिस्तान लौटकर आया था. शिकायतकर्ता के वकील गुलाम मुस्तफा चौधरी ने कहा कि डॉक्टर अहमद के खिलाफ एक प्राथमिकी दर्ज की गई है और शिकायतकर्ता के पास इन आरोपों के लिए ऑडियो और वीडियो सबूत भी हैं.

चौधरी ने कहा कि डॉक्टर अहमद ने एक मरीज को अहमदी मूल्यों की शिक्षा दी थी और उसे ईश-निंदात्मक सामग्री वाली किताबें दी थीं. अहमदियों द्वारा चलाए जाने वाले ब्लॉग में कहा गया कि उन्हें कुरान की एक आयत का अनुवाद पढ़ने के लिए ईशनिंदा के आरोपों लगाकर गिरफ्तार किया गया है. गुस्साई भीड़ द्वारा पुलिस चौकी पर प्रदर्शन करके डॉक्टर अहमद पर मुस्लिम की तरह बर्ताव करने का आरोप दर्ज करने की मांग किए जाने के बाद डॉक्टर पर ईशनिंदा कानून के अहमदी भाग के साथ पाकिस्तान दंड संहिता की धारा 298-सी के तहत मामला दर्ज किया गया.

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1974 में धार्मिक नेताओं के दबाव के चलते पाकिस्तान के पहले चयनित प्रधानमंत्री जुल्फिकार अली भुट्टो एक संवैधानिक संशोधन लाए थे. इसके तहत अहमदियों या अहमदिया समुदाय के लोगों को गैर-मुस्लिम घोषित किया गया. अहमदी लोगों को मुस्लिमों की तरह बर्ताव करने या मुस्लिमों की भावनाओं को आहत करने पर तीन सालों तक की जेल हो सकती है.

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