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NYT के हवाले से वायरल थी पीएम मोदी की तारीफ, सामने आया अखबार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 24-25 सितंबर को अमेरिका का दौरा किया था और इसके बाद से ही अमेरिका के प्रतिष्ठित अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स की एक खबर सोशल मीडिया पर छाई हुई थी. इस तस्वीर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर फ्रंट पेज पर लगी हुई थी और इस खबर का शीर्षक था- पृथ्वी की आखिरी और सबसे बड़ी उम्मीद. हालांकि अब साफ हो गया है कि ये फेक न्यूज है.

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वायरल हो रही खबर का स्क्रीनशॉट (फोटो क्रेडिट- ट्विटर)
वायरल हो रही खबर का स्क्रीनशॉट (फोटो क्रेडिट- ट्विटर)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • न्यूयॉर्क टाइम्स में पीएम मोदी की तस्वीर को लेकर बवाल
  • अमेरिका के इस अखबार ने खुद दी सोशल मीडिया पर सफाई

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 24-25 सितंबर को अमेरिका का दौरा किया था और इसके बाद से ही सोशल मीडिया पर एक खबर का स्क्रीनशॉट काफी वायरल हुआ था जिसे अमेरिका के प्रतिष्ठित अखबार न्यूयॉर्क टाइम्स के हवाले से दिखाया जा रहा था. इस खबर के स्क्रीनशॉट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर फ्रंट पेज पर लगी हुई थी और इस खबर का शीर्षक था- पृथ्वी की आखिरी और सबसे बड़ी उम्मीद.

इस खबर को ट्विटर, फेसबुक से लेकर व्हाट्सएप ग्रुप में भी काफी शेयर किया जा रहा था. हालांकि अब साफ हो गया है कि ये फेक न्यूज है. न्यूयॉर्क टाइम्स ने खुद इस खबर को लेकर सफाई दी है और इस खबर को लेकर एक ट्वीट शेयर किया है. 

न्यू यॉर्क टाइम्स ने अपने इस ट्वीट में लिखा कि पीएम मोदी को लेकर सर्कुलेट की जा रही कईं तस्वीरों की तरह ये भी पूरी तरह से फर्जी फोटो है. फोटोशॉप की गई तस्वीरों को शेयर करना और इसे अलग-अलग सोशल मीडिया ग्रुप में भेजकर बढ़ावा देना सिर्फ गलत सूचनाओं और भ्रांतियों को बढ़ावा देता है, वो भी एक ऐसे दौर में जब सच्चाई की पत्रकारिता की सबसे ज्यादा आवश्यकता है. इस ट्वीट में न्यूयॉर्क टाइम्स में पीएम मोदी से जुड़ी सभी खबरों को भी एक लिंक में शेयर किया गया था. 

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न्यूयॉर्क टाइम्स के ट्वीट को लेकर सोशल मीडिया में चर्चा

वहीं, न्यूयॉर्क टाइम्स के खुलासे के बाद कांग्रेस पार्टी ने भी मोदी सरकार पर निशाना साधा है. कांग्रेस पार्टी के नेशनल को-कॉर्डिनेटर विनय कुमार डोकानिया ने ट्विटर पर इसकी जमकर आलोचना की है  उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा कि मोदी सरकार और उनका आईटी सेल अंतराष्ट्रीय स्तर पर भारत को शर्मिंदा करा रहा है. पूरी दुनिया हम पर हंस रही है. 

वहीं, एक और सोशल मीडिया यूजर कंचन श्रीवास्तव ने अपने ट्वीट में लिखा कि पीएम मोदी को उस व्यक्ति या समूह को ट्रैक करने के लिए जांच का आदेश देना चाहिए जिन्होंने उन्हें और भारत को विश्व स्तर पर शर्मिंदा करने के लिए इस फर्जी खबर को तैयार किया.  राजनेताओं की आलोचना करने वाले लोगों को देशद्रोह के आरोप में जेल में डाल दिया जाता है. पीआर स्टंट के लिए एक प्रतिष्ठित अखबार के साथ फर्जीवाड़ा करने वाले लोगों को भी देशद्रोह का सामना करना चाहिए.

इससे पहले भी पीएम मोदी से जुड़ी फेक न्यूज हुई थी वायरल

गौरतलब है कि पीएम मोदी के अमेरिका दौरे के दौरान एक व्हाट्सएप मैसेज भी काफी वायरल हुआ था. इस मैसेज के बारे में कहा गया था कि इसे न्यूयॉर्क टाइम्स वेबसाइट के एडिटर जोसेफ होप ने लिखा है. इस मैसेज में भी पीएम मोदी की काफी तारीफ की गई थी. हालांकि, फैक्ट चेक के बाद सामने आया था कि न्यूयॉर्क टाइम्स के एडिटर डीन बेक्वेट हैं और जोसेफ होप नाम का कोई भी शख्स न्यूयॉर्क टाइम्स में काम नहीं करता है. इसके अलावा इंटरनेशनल एडिटर द्वारा लिखे जाने का दावा करने वाले इस मैसेज में कई ग्रामर की गलतियां भी देखने को मिली थीं. 

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