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गोरखपुर में 32 सरकारी डॉक्टर ड्यूटी से गायब, एक साल से नहीं आए अस्पताल

यूपी के गोरखपुर में सरकारी अस्पतालों और स्वास्थ्य केंद्रों को डॉक्टरों की कमी से जूझना पड़ रहा है. जिले के सीएमओ ने जानकारी दी है कि 32 सरकारी डॉक्टर ड्यूटी से गायब हैं और इसमें कई ऐसे हैं जो सालों से ड्यूटी पर नहीं आए. नोटिस जारी करने के बाद भी ऐसे डॉक्टरों ने कोई जवाब नहीं दिया है.

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यह सांकेतिक तस्वीर है.
यह सांकेतिक तस्वीर है.

यूपी के गोरखपुर में 32 डॉक्टर बिना किसी जानकारी के अपनी ड्यूटी से महीनों से गायब हैं. एक वरिष्ठ अधिकारी ने बुधवार को कहा कि स्वास्थ्य विभाग के कम से कम 32 डॉक्टर बिना किसी आधिकारिक सूचना के ड्यूटी से नदारद हैं, उनमें से कुछ पिछले साल से काम पर नहीं आ रहे हैं.

मुख्य चिकित्सा अधिकारी आशुतोष दुबे ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग उन्हें नोटिस भेज रहा है लेकिन उन्होंने अभी तक जवाब नहीं दिया है और इस संबंध में एक रिपोर्ट सरकार को भेज दी गई है.

सीएमओ ने कहा कि जिले के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी), ग्रामीण प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों (पीएचसी) और शहरी पीएचसी में कार्यरत 162 डॉक्टरों में से 32 डॉक्टर बिना किसी आधिकारिक जानकारी के गायब हैं.

सीएमओ ने बताया कि गायब डॉक्टरों को कई बार नोटिस भेजा गया है और शासन को रिपोर्ट भेजी गई है. उन्होंने कहा कि डॉक्टरों की कमी के कारण ग्रामीण क्षेत्र के अस्पतालों में दिक्कतें आ रही हैं.

सीएमओ ने कहा कि लापता डॉक्टरों ने न तो औपचारिक रूप से अपना इस्तीफा सौंपा है और न ही कहीं और अपनी नियुक्ति के बारे में कोई जानकारी दी है.

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बता दें कि गोरखपुर में स्वास्थ्य विभाग पहले से ही डॉक्टरों की कमी से जूझ रहा रहा है. जिले के 110 छोटे-बड़े अस्पतालों में कुल 269 सरकारी डॉक्टर के पद हैं लेकिन 162 डॉक्टरों की ही नियुक्ति है उसमें भी 32 डॉक्टर गायब हैं.

इसके अलावा 8 डॉक्टर पीजी की पढ़ाई के लिए चले गए हैं जिससे  दिक्कतें और बढ़ गई हैं. सीएमओ ने बताया कि डॉक्टरों के सरकारी नौकरी छोड़ने का सिलसिला बीते दो तीन साल से चल रहा है और किसी तरह काम चलाया जा रहा है.

 

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