scorecardresearch
 
Advertisement

मनोज जरांगे

मनोज जरांगे

मनोज जरांगे

मनोज जरांगे (Manoj Jarange) एक समाजिक कार्यकर्ता हैं. वे मराठा समाज को आरक्षण दिलाने के लिए लगातार संघर्ष कर रहे हैं. 29 अगस्त 2025 को मनोज जरांगे ने एक और बड़ा प्रदर्शन मार्च निकालने का साथ ही अनशन शुरू किया था. 2 सितंबर को उन्होंने अपना अनशन खत्म किया. महाराष्ट्र सरकार ने मराठा आरक्षण पर हामी भरी दी है.

मराठा आरक्षण की मांग को लेकर उनके प्रदर्शन पर महाराष्ट्र में काफी उथल-पुथल रही. इस बीच मुंबई के आजाद मैदान में चल रहे आंदोलन के मामले में 2 सितंबर 2025 को भी बॉम्बे हाई कोर्ट में सुनवाई हुई.

मनोज जरांगे का जन्म मराठा समाज में हुआ. वे मूल रूप से बीड जिले की शिरूर कासार (पहले गेवरा तालुका) तहसील के माटोरी गांव के रहने वाले हैं और वर्तमान में शाहगड में बस गए हैं.

उनकी पत्नी का नाम सुमित्रा है और दंपति के दो बेटियां व एक बेटा है. मनोज जरांगे चार भाइयों में सबसे छोटे हैं और अपने माता-पिता के साथ रहते हैं.

करीब 15 साल पहले वे मराठा आरक्षण आंदोलन से जुड़े और बाद में उन्होंने शिवबा संघटना की स्थापना की, ताकि मराठा समाज को संगठित कर आंदोलन को नई दिशा दी जा सके.

और पढ़ें

मनोज जरांगे न्यूज़

Advertisement
Advertisement