भारत की शीर्ष तीरंदाज दीपिका कुमारी तोक्यो के हिबिया पार्क में विश्व कप फाइनल में रिकर्व महिला एकल स्पर्धा जीतने के बिलकुल करीब थी लेकिन उन्हें ओलंपिक में दो स्वर्ण पदक जीतने वाली बो बाई कि से हारकर रजत पदक से संतोष करना पड़ा.
लंदन ओलंपिक में मिली निराशा के बाद अपनी पहली प्रतियोगिता खेल रही दीपिका क्वार्टरफाइनल और सेमीफाइनल में जीतने के बाद शानदार फॉर्म में थी.
वह फाइनल में 4-0 से बढ़त बनाये थी लेकिन उन्हें 4-6 (26-23), (27-25), (24-28), (23-26), (25-26) से शिकस्त का मुंह देखना पड़ा.
कोरियाई तीरंदाज ने 0-4 से पिछड़ने के बाद वापसी करते हुए बचे हुए तीनों सेट अपने नाम कर लिये और स्वर्ण पदक अपनी झोली में डाला. इससे यह साल उनके लिये शानदार रहा जिसमें उन्होंने दो महीने पहले लंदन ओलंपिक में व्यक्तिगत और टीम स्पर्धा के खिताब जीते थे.
लंदन ओलंपिक में खराब प्रदर्शन के बाद विश्व रैंकिंग में दूसरे स्थान पर खिसकी दीपिका को इस प्रतियोगिता में शीर्ष वरीयता मिली थी. उसने पहले दो सेट 26 -23, 27-25 से अपने नाम कर 4-0 की बढ़त बना ली थी.
लेकिन बो बाई कि ने बारिश से प्रभावित मैच में तीसरे सेट में 9-9-10 के स्कोर से वापसी की. दीपिका का स्कोर इस राउंड में 9-8-7 था. चौथे सेट में भी दीपिका के 8-8-7 की तुलना में कोरियाई 8-10-8 से जीत गयी. अब दोनों बराबरी पर थीं.
इससे पहले दीपिका ने बारिश से प्रभावित क्वार्टरफाइनल में जापान की मिकी कानी को 7-1 से जबकि सेमीफाइनल में रांची की इस तीरंदाज ने अमेरिका की जेनिफर निकोलस को 6-2 से शिकस्त दी थी.
डोला बनर्जी एकमात्र भारतीय तीरंदाज हैं जिन्होंने 2007 में दुबई में विश्व कप फाइनल जीता था.