ऑस्ट्रेलिया के आक्रामक ऑलराउंडर ग्लेन मैक्सवेल ने कहा है कि लगातार जैविक रूप से सुरक्षित माहौल (बायो बबल) का हिस्सा बने रहना ‘बुरे सपने’ की तरह हो सकता है. क्रिकेटर्स अभी बेहद मुश्किल जीवनशैली जी रहे हैं, जिससे कि सुनिश्चित हो सके कि वे अपना काम जारी रख सकें.
अतीत में मानसिक थकान को लेकर अपनी समस्याओं का खुलासा करने वाले मैक्सवेल ने स्वीकार किया कि कोविड-19 महामारी के बीच इस तरह की जीवनशैली से सामंजस्य बैठाने का निश्चित तौर पर दुनियाभर के खिलाड़ियों पर असर पड़ा है.
इंडियन प्रीमियर लीग (IPL) फ्रेंचाइजी रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) द्वारा अपने यूट्यूब चैनल पर डाले गए साक्षात्कार में मैक्सवेल ने कहा, ‘यह काफी मुश्किल है (एक जैविक रूप से सुरक्षित महौल से दूसरे में जाना)... आपको अपने जैविक रूप से सुरक्षित माहौल के बाहर से आए लोगों के साथ रखा जाता है और आप इस कभी नहीं खत्म होने वाले बुरे सपने में फंस जाते हो जहां आप रोजाना एक ही तरह का जीवन जीते हैं.’
उन्होंने कहा, ‘आप लगभग भूल जाते हैं कि बाहरी दुनिया के साथ सामान्य बात कैसे की जाती है. यह मानसिक रूप से काफी मुश्किल हो सकता है और बहुत बड़ी चुनौती. लेकिन दोबारा खेलना शानदार है और अपना काम करना और लोगों का मनोरंजन करना. लेकिन फिर भी यह जीवनशैली काफी कड़ी है.’
आगामी आईपीएल के संदर्भ में मैक्सवेल ने कहा कि अतीत में उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं करने के बावजूद मिली भारी भरकम राशि को लेकर हो रही बातों को वह अधिक तवज्जो नहीं देते क्योंकि वह विराट कोहली और एबी डिविलियर्स जैसे खिलाड़ियों के साथ खेलने का सपना पूरा होने को लेकर रोमांचित हैं.
पिछले दो आईपीएल में लचर प्रदर्शन के बावजूद इस साल की खिलाड़ियों की नीलामी में मैक्सवेल को रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु ने 14 करोड़ 25 लाख रुपये की भारी भरकम राशि में खरीदा.
मैक्सवेल ने कहा, ‘यह पुराना सपना था (कोहली और डिविलियर्स के साथ खेलना). बेशक मैदान के बाहर उन्हें काफी अच्छी तरह जानता हूं, उनके खिलाफ काफी खेला हूं, लेकिन अंतत: उनके साथ एक ही टीम में खेलने का मौका मिल रहा है.’