ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पहले वनडे में पहली ही गेंद पर आउट होने से बचे जॉर्ज बेली कहा है कि डीआरएस के होने से उनके खिलाफ पहले वनडे मैच के दौरान पहली गेंद पर भारतीयों की अपील दिलचस्प हो गई होती. तब मैच में दो विकेट खो चुकी ऑस्ट्रेलियाई टीम के लिए अंपायर द्वारा बेली को आउट नहीं दिया जाना बेहद निर्णायक साबित हुआ और अंततः मैच मेजबान के पक्ष में चला गया.
वाका की सपाट पिच पर रोहित शर्मा की नाबाद 171 रन की पारी बेकार चली गई क्योंकि ऑस्ट्रेलिया ने कप्तान स्टीव स्मिथ के 149 और बेली के 112 रन की मदद से पांच वनडे मैचों की सीरीज के पहले मैच में जीत दर्ज की. बेली पहली गेंद पर आउट हो सकते थे क्योंकि बरिंदर सरन की गेंद उनके दस्ताने को छूकर विकेटकीपर महेंद्र सिंह धोनी के पास पहुंची थी लेकिन अंपायर इसका अनुमान नहीं लगा पाए.
'स्कोर चुनौतीपूर्ण था'
जॉर्ज बेली ने कहा, ‘मुझे लगता है कि यह थाई गार्ड से लगी थी. इसे डीआरएस पर देखना दिलचस्प होता.’
उन्होंने कहा कि उनकी टीम 310 रन के लक्ष्य को लेकर वास्तव में चिंतित नहीं थी. मेजबान टीम ने आसानी से लक्ष्य हासिल करके पांच विकेट से जीत दर्ज की. बेली ने मैच के बाद कहा, ‘यह चुनौतीपूर्ण स्कोर था लेकिन हमने आखिर तक मैच में बने रहने पर बात की और हम जानते थे कि हमारे पास अच्छे हिटर हैं.’
उन्होंने कहा, ‘यदि रन रेट आठ या नौ पर चला जाता तो स्टीव स्मिथ और मैं इसको लेकर चिंतित नहीं थे. हमने इसकी परवाह नहीं की और इससे हमें अगली गेंद पर ध्यान केंद्रित करने में मदद मिली. हमने अच्छी लय हासिल कर ली.’
उन्होंने कहा, ‘और ससेक्स में मैंने अच्छा प्रदर्शन किया तथा जब मैं टी20 या वनडे में नहीं खेल रहा था तो वहां मैंने सेकेंड इलेवन की क्रिकेट खेली. मैं यह भी जानता हूं कि इसे जितना अच्छा होना चाहिए यह अभी वैसी नहीं है लेकिन अभी तो यह प्रभावशाली है और इसलिए मैं आगे भी ऐसा करूंगा.’
'बल्लेबाजों में रनों की भूख देखना प्रभावशाली'
ऑस्ट्रेलिया के पूर्व कप्तान ने वर्तमान कप्तान स्टीव स्मिथ की जमकर तारीफ की जो भारत के खिलाफ लगातार अच्छा प्रदर्शन करते रहे हैं. उन्होंने कहा, ‘दुनिया में अभी इसी उम्र के कुछ बल्लेबाज हैं जिन्हें बल्लेबाजी करते हुए देखने में मजा आता है. ईमानदारी से कहूं तो उसके साथ बल्लेबाजी करना थोड़ा हतोत्साहित करने वाला होता है क्योंकि वह इसे कई बार बेहद आसान बना देता है. लेकिन इसके साथ ही रनों की भूख देखना भी प्रभावशाली होता है.’