scorecardresearch
 

भाई-बहन का त्योहार: रक्षाबंधन पर इस बार है सबसे बड़ा मुहूर्त

रक्षाबंधन प्यार का वो त्योहार है जिसका इंतजार सभी भाई-बहन बहुत बेसब्री से करते हैं. इस दिन बहनें अपने भाई की कलाई पर रक्षासूत्र बांधकर उसकी लंबी उम्र की कामना ईश्वर से करती हैं. वहीं भाई जीवनभर अपनी बहन को उसकी रक्षा का वचन देता है.

Advertisement
X
प्रतीकात्मक फोटो
प्रतीकात्मक फोटो

रक्षाबंधन प्यार का वो त्योहार है जिसका इंतजार सभी भाई-बहन बहुत बेसब्री से करते हैं. इस दिन बहनें अपने भाई की कलाई पर रक्षासूत्र बांधकर उसकी लंबी उम्र की कामना ईश्वर से करती हैं. वहीं भाई जीवनभर अपनी बहन को उसकी रक्षा का वचन देता है.

इस साल भाई-बहन का ये त्योहार राखी 15 अगस्‍त, गुरुवार के दिन मनाया जाएगा. खास बात यह है कि इस बार रक्षा बंधन पर राखी बांधने के लिए काफी लंबा मुहूर्त है. आइए जानते हैं इस दिन पूजा करने का क्या है शुभ मुहूर्त.

राखी का शुभ मुहूर्त-

इस बार लंबे समय बाद सावन महीने में 15 अगस्त के दिन चंद्र प्रधान श्रवण नक्षत्र में स्वतंत्रता दिवस और रक्षा बंधन का संयोग एक साथ बन रहा है. रक्षा बंधन पर इस बार राखी बांधने का काफी लंबा मूहर्त है. इस बार राखी बांधने का मुहूर्त सुबह 5 बजकर 49 मिनट से शुरू होकर शाम 6 बजकर एक मिनट तक का रहेगा. यह मुहूर्त लगभग 12 घंटे तक रहने वाला है.

Advertisement

रक्षा बंधन पांचांग-

रक्षा बंधन 2019: 15 अगस्त

रक्षा बंधन अनुष्ठान का समय- 05:49 से 17:58

अपराह्न मुहूर्त- 13:43 से 16:20

पूर्णिमा तिथि आरंभ – 15:45 (14 अगस्त)

पूर्णिमा तिथि समाप्त- 17:58 (15 अगस्त)

भद्रा समाप्त: सूर्योदय से पहले

रक्षा बंधन का इतिहास-

धार्मिक मान्यताओं के अनुसार राजा शिशुपाल का वध करते समय भगवान कृष्ण के बाएं हाथ की ऊंगली से खून बहने लगा. जिसे देख दुखी द्रौपदी ने अपनी साड़ी का एक टुकड़ा फाड़कर कृष्ण की ऊंगली में बांध दिया. माना जाता है कि तभी से श्री कृष्ण द्रौपदी को अपनी बहन मानते थे.

सालों बाद जब पांडव द्रौपदी को जुए में हार गए थे और भरी सभा में द्रौपदी का चीरहरण किया जा रहा था. उस समय भगवान कृष्ण ने एक भाई का फर्ज निभाते हुए बहन द्रौपदी की लाज बचाई थी. कहा जाता है कि उसी समय से रक्षाबंधन के त्योहार की शुरुआत हुई थी.

Advertisement
Advertisement