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जम्मू-कश्मीर में शहीद हुआ सीकर का लाल, गांव में 10 km तिरंगा यात्रा के बाद दी गई अंतिम विदाई

सीकर जिले के नागवा गांव निवासी एसएसबी जवान राजेंद्र बगड़िया जम्मू-कश्मीर के डोडा में गश्त के दौरान पहाड़ी से गिरकर शहीद हो गए. शहीद का पार्थिव शरीर गांव पहुंचते ही लोगों की आंखें नम हो गईं. राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार हुआ और गांव के युवाओं ने 10 किलोमीटर लंबी तिरंगा यात्रा निकाली.

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ड्यूटी के दौरान जवान की मौत  (File Photo: Sushil Kumar Joshi/ITG)
ड्यूटी के दौरान जवान की मौत (File Photo: Sushil Kumar Joshi/ITG)

सीकर जिले के धोद थाना क्षेत्र के नागवा गांव के रहने वाले जवान राजेंद्र बगड़िया जम्मू-कश्मीर में ड्यूटी के दौरान शहीद हो गए. वह सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) की 7वीं बटालियन में तैनात थे. शनिवार अलसुबह गश्त के दौरान गंडोह इलाके की एक पहाड़ी पर उनका पैर फिसल गया, जिससे वह नीचे गिर पड़े और मौके पर ही उनकी मौत हो गई.

राजेंद्र बगड़िया की शहादत की खबर गांव पहुंचते ही पूरे इलाके में शोक की लहर दौड़ गई. पार्थिव शरीर जैसे ही गांव पहुंचा, लोगों की आंखें नम हो गईं. धोद थाने से नागवा गांव तक 10 किलोमीटर लंबी तिरंगा यात्रा निकाली गई. इस दौरान भारत माता के जयकारों और शहीद को याद करते नारों से माहौल गूंज उठा.

पहाड़ी से पैर फिसलकर नीचे गिरा था जवान

राजकीय सम्मान के साथ शहीद का अंतिम संस्कार किया गया. इस मौके पर एसएसबी के अधिकारी, जवान, सीकर एडीएम रतन कुमार, पीसीसी चीफ गोविंद सिंह डोटासरा, धोद विधायक गोवर्धन वर्मा, कांग्रेस जिला अध्यक्ष सुनीता गठाला समेत सैकड़ों ग्रामीण मौजूद रहे.

पार्थिव शरीर के गांव पहुंचते ही नम हो गईं आंखें 

राजेंद्र 2012 में एसएसबी में भर्ती हुए थे. उनके पिता रामनिवास किसान हैं और मां गृहणी. छोटा भाई नरेंद्र विदेश में काम करता है. राजेंद्र के दो बेटियां और एक बेटा है. शहीद की अंतिम यात्रा में आसपास के दर्जनों गांवों से हजारों लोग शामिल हुए और नम आंखों से विदाई दी.

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