तीन दिवसीय e-साहित्य आजतक के तीसरे दिन मंच से जुडे अभिनेता, निर्देशक, गायक, गीतकार, पटकथा लेखक और कवि पीयूष मिश्रा. e-साहित्य आजतक के मंच पर उन्होंने कहा जो मैं लिखना चाहता हूं, उसे लिख नहीं पा रहा. लड़की के लिखना कोई लिखना नहीं है. लिखने के लिए या तो पैसे मिलें या मन हो लिखने का. एंकर श्वेता सिंह से उन्होंने बातचीत में कहा कि उनके जीवन में कुछ भी प्लान नहीं था. कोई एक सत्ता है, जिसे चाहे जो नाम दो, वह आपको नियोजित करती है.