वर्ष 2002 में छपे एक अध्ययन मधुमेह की रोकथाम में भाग लेने वाले प्रतिभागियों के डेटा का शोधार्थियों ने इस अध्ययन में प्रयोग किया.
इस अध्ययन में 1996 से 1999 के बीच 3,234 मोटापे से ग्रस्त 25 साल से ज्यादा उम्र के अमेरिकी वयस्कों को शामिल किया गया था. ताजा अध्ययन डायबिटोलोजिया नाम के जर्नल में प्रकाशित हुआ है.
यह अध्ययन समय के साथ मधुमेह पर सुस्त व्यवहार के प्रभाव का परीक्षण करता है. उम्र, लिंग, इलाज और सुस्त शारीरिक गतिविधि में बिताए गए समय के समायोजन के बाद टीवी देखने में बिताए गए हर एक घंटे से सभी तरह का इलाज ले रहे प्रतिभागियों में मुधमेह के बढ़ने के खतरे में लगभग 3.4 प्रतिशत तक की वृद्धि देखी गई.
युनिवर्सिटी ऑफ पिट्सबर्ग की एक वरिष्ठ लेखिका डॉक्टर एंड्रिया क्रिस्का ने इसे एक उल्लेखनीय खोज बताया.
-इनपुट भाषा