सुप्रीम कोर्ट ने 1984 के सिख विरोधी दंगों के मामलों की जांच के लिए नई तीन सदस्यीय विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया है. इस जांच दल का प्रमुख जस्टिस (रिटायर्ड) एसएन ढींगरा को बनाया गया है.
सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित इस SIT को दो महीनों के भीतर अपनी रिपोर्ट देनी होगी. यह SIT सिख विरोधी दंगों के 186 मामलों की जांच करेगी.
Justice (Retired) Shiv Narayan Dhingra to head the committee which will re-investigate 186 cases related to the 1984 anti-Sikh riots.
— ANI (@ANI) January 11, 2018
जस्टिस ढींगरा के अलावा इस दल में दो आईपीएस अधिकारी भी हैं. ये अधिकारी राजदीप सिंह (रिटायर्ड) और अभिषेक दुलार होंगे. इस मामले में सुप्रीम कोर्ट 19 मार्च को अगली सुनवाई करेगा.
सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली बेंच ने SIT को अपनी जांच पूरी करने के लिए दो महीनों का समय दिया है.Retired IAS officer Rajdeep Singh & IPS officer Avishek Dullar will be other two members of the committee that will re-investigate 186 cases pertaining to 1984 anti-Sikh riots cases. Committee to file interim report within 2 months to SC, Court to further hear matter on 19 March.
— ANI (@ANI) January 11, 2018
इससे पहले, सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को सिख विरोधी दंगों के मामले में नए सिरे से SIT गठित करने के आदेश दिए थे. न्यायमूर्ति केपीएस राधाशरण और न्यायमूर्ति जेएम पांचाल की पर्यवेक्षी समिति ने पहली SIT द्वारा की गई जांच पर सुप्रीम कोर्ट को अपनी रिपोर्ट दी थी.
कोर्ट के आदेश के बाद SIT के लिए केंद्र सरकार ने बुधवार को कई नाम सुझाए थे, लेकिन कोर्ट ने उन नामों पर सहमति देने से इनकार कर दिया था.
इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में एक पर्यवेक्षी समिति का गठन किया था. इस समिति ने पहली SIT द्वारा की गई जांच का अवलोकन किया था. पुरानी SIT ने 1984 में हुए सिख विरोधी दंगे मामले में दर्ज 294 केस में से 186 को बिना किसी जांच के बंद कर दिया था, जिस पर आपत्ति जाहिर की गई थी.
दिल्ली हाईकोर्ट ने भी पिछले साल एक अहम फैसले में 1984 दंगे से जुड़े पांच मामलों की फिर से जांच करने के आदेश दिए थे. इन सभी मामलों को 1986 में ही बंद कर दिया गया था.
1984 के सिख विरोधी दंगे पूर्व भारतीय पीएम इंदिरा गांधी की हत्या के बाद दिल्ली से शुरू हुए थे. 31 अक्टूबर 1984 को इंदिरा गांधी की उनके दो सिख गार्ड ने हत्या कर दी थी. दिल्ली से शुरू होकर दंगे देश के कई हिस्सों में फैल गए थे. समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक इन दंगों में दिल्ली में ही 2733 लोगों की जान गई थी.