भारत आये तंज़ानिया के राष्ट्रपति जकाया मिशो ने आज प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात कर कई मामलों पर चर्चा की. इस मौके पर भारत ने तंजानिया के गैस रिज़र्व को विकसित करने की पेशकश की. रॉयटर्स की एक रिपोर्ट के अनुसार तंज़ानिआ आपने गैस उत्पाद को पांच गुना बढ़ाने की जुगत में हैं. ऐसे में भारतीय कम्पनियां को कॉन्ट्रैक्ट मिलता है तो ये बड़ी सफलता होगी.
कई मामलो पर सहमति जताते हुए दोनों देशो के बीच कुल 8 मामलो पर Mous साइन किये गए.
प्रधानमंत्री मोदी ने तंजानियन राष्ट्रपति जकाया मिशो से आंतकवाद पर गहरी चिंता जाहिर की और दोनों देशो से इस मुद्दे पर साथ काम करने की अपील भी की. इस दौरान विदेश मंत्री सुषमा स्वराज सहित कई बड़े अधिकारी मौजूद थे.
वही तंजानियन राष्ट्रपति ने भारत को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य के लिए उपयुक्त उम्मीदवार बताते हुए भारत की उम्मीदवारी को पूरा समर्थन देने का वादा किया.
प्रधानमंत्री मोदी ने कारोबार का उल्लेख करते हुए बताया कि भारत-तंजानिया के बीच मौजूदा 4 बिलियन डॉलर के आपसी व्यापर को और बढ़ाने की आवश्यकता है. भारतीय कम्पनियो के लिए तंजानिया के द्वार खोलने की भी अपील की. जिस पर तंजानियन राष्ट्रपति ने सहयोग का पूरा भरोसा देते हुए कहा कि उनकी सरकार भारतीय कपंनियों को हर सम्भव मदद के साथ पूरी सुरक्षा मुहैया करायेगी.
भारतीय निर्यात-आयात बैंक (Exim Bank) 1 हजार 700 करोड़ रुपये तंज़ानिया की सरकार को सहायता के तौर ऋण देगी. जिसका उपयोग तंज़ानिया में पाइपलाइन का विस्तार करने, बांध के विकास करने में और पर्यटन को बढ़ावा देने में किया जायेगा.
तंजानिया से बाहर पैसा भेजने में वंहा काम कर रहा भारतीय समुदाय नंबर 1 है. भारतीय समुदाय के लगभग 50 से 60 हज़ार लोग तंजानिया में रहते है.